रिपोर्ट कार्ड ए प्लस, फिर से बनेगी सरकार : सुप्रिया श्रीनेत
हेमंत सोरेन के तिरस्कार का हिसाब चुनाव में होगा, भाजपा पहले 19 राज्यों में लागू करे यूसीसी, सरना धर्म कोड केंद्र सरकार क्यों नहीं लागू करती, बीजेपी ने
रांची, हिन्दुस्तान ब्यूरो कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि झारखंड सरकार का रिपोर्ट कार्ड ए प्लस है। राज्य में फिर से इंडिया गठबंधन की सरकार बनने जा रही है। राज्य की जनता भाजपा से हिसाब लेगी। लोकसभा चुनाव में हेमंत सोरेन को प्रचार-प्रसार भी नहीं करने दिया गया। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के तिस्कार का हिसाब लेगी। सुप्रिया श्रीनेत सोमवार को कांग्रेस भवन में प्रेस कांफ्रेंस कर रही थीं।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 57 लाख बेटियों व महिलाओं को मंईयां योजना का लाभ दिया। इसमें 1000 रुपए दिए हैं, जबकि दिसंबर से 2500 रुपए दिए जाने हैं। 42 लाख लोगों का बिजली बिल माफ हुआ और उन्हें मुफ्त में बिजली मिल रही है। 4.50 लाख किसानों का ऋण माफ किया गया। 11 लाख छात्राओं को पांच हजार दिए गए। शिक्षकों के मानदेय में बढ़ोतरी की गई। कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता ने कहा कि केंद्र सरकार झारखंड की 1.36 लाख करोड़ रुपए दबा कर बैठी है। यह राशि मिलती तो सरकार राज्य के 42500 छात्रों को पांच साल तक 5000 रुपए दे सकती थी। तीन लाख छात्रों को प्रशिक्षण दिया जा सकता था। राज्य का जल संकट दूर हो सकता था। 68 लाख किसानों का दो-दो लाख का ऋण माफ हो सकता था। 68 लाख परिवारों को अबुआ आवास मिल जाता। उन्होंने कहा कि भाजपा ने सीएनटी एक्ट को लगातार कमजोर करने का काम किया है। 11 लाख राशन कार्ड खत्म कर दिए गए थे, जिसे बहाल किया गया। आदिवासियों के जल, जंगल, जमीन पर कब्जा किया गया, ओबीसी का आरक्षण खत्म किया गया। सरकार उसे बहाल करने को तत्पर है। प्रेस कांफ्रेंस में प्रवक्ता अंशुल अविजीत, मीडिया प्रभारी राकेश सिन्हा, चेयरमैन सतीश पॉल मुंजनी, केदार पासवान, जगदीश साहू, अभिलाष साहू समेत अन्य मौजूद थे।
पहले 19 राज्यों में यूसीसी ले आए भाजपा
कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता ने कहा कि भाजपा झारखंड में यूसीसी लाने की बात कर रही है। उसे पहले अपने उन 19 राज्य में यूसीसी लानी चाहिए, जहां उनकी सरकार है। सरना कोड जो झारखंड सरकार ने विधानसभा से पास कराकर भेजा है, उसे लागू नहीं किया जा रहा है। सिर्फ शिगूफा छोड़ा जा रहा है। उन्होंने कहा कि परिवारवाद पर भाजपा को बोलने का हक नहीं है। झारखंड में 68 में से 33 सीटों पर भाजपा ने परिवार को उतारा है। हालांकि वह इसके खिलाफ नहीं हैं, जो परिवार की सोचेगा वही समाज की सोचेगा। जनता अगर परिवारवाद नहीं मानेगी तो वह उसे वोट नहीं देगी।
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