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11 करोड़ की धोखाधड़ी के सरगना सहित छह आरोपी धराए

जामताड़ा में डीके बॉस नामक साइबर ठगी गिरोह के 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। इन पर 11 करोड़ रूपए की धोखाधड़ी का आरोप है। गिरफ्तार आरोपियों के पास से 1.08 लाख रूपए, 14 मोबाइल, और 2700 बैंक...

Newswrap हिन्दुस्तान, जामताड़ाTue, 28 Jan 2025 03:58 AM
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11 करोड़ की धोखाधड़ी के सरगना सहित छह आरोपी धराए

जामताड़ा। देशभर में 415 साइबर अपराध कांड/शिकायत से जुड़े छह आरोपियों की गिरफ्तारी हुई है,जो डीके बॉस नाम से छद्म साइबर ठगी के गिरोह का संचालन करता था। इस गिरोह पर 11 करोड़ रूपए के धोखाधड़ी का आरोप है। इन आरोपियों की गिरफ्तारी 25 जनवरी को नारायणपुर थाना क्षेत्रन्तर्गत केन्दुआटांड़ मुख्य सड़क से हुई थी। यह जानकारी 26 जनवरी की संध्या जामताड़ा जिला पुलिस कार्यालय में प्रेस कांफ्रेंस कर एसपी डॉ एहतेशाम वकारिब ने एक बयान जारी कर दी। उन्होने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों में से पांच गिरीडीह जिले का एवं एक जामताड़ा जिला का रहनेवाला है। जिसमें गिरिडीह जिलान्तर्गत बांकीकला गांव निवासी मो मेहबुब आलम उर्फ डीके बॉस व सफाउद्दीन अंसारी,लखनपुर गांव निवासी मो आरीफ अंसारी उर्फ डीके बॉस,गांडेय थाना क्षेत्रन्तर्गत महजोरी गांव निवासी शेख बेलाल उर्फ डीके बॉस एवं करमाटांड़ थाना क्षेत्रन्तर्गत सियाटांड़ गांव निवासी अजय मंडल शामिल है। इन आरोपियों के पास से 01 लाख 08 हजार 800 रूपए नगद,14 मोबाइल,23 सिमकार्ड,10 एटीएम कार्ड,01 लैपटॉप,02 चारपहिया वाहन,01 डीएलएलआर कैमरा एवं 01 ड्रॉन कैमरा बरामद किया गया है। वही गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ जामताड़ा साइबर थाना में कांड संख्या 07/2025 के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया है। वही मेडिकल जांच के पश्चात सभी आरोपियों को जेल भेज दिया गया।

जब्त मोबाइल में मिला 2700 बैंक खाताधारकों का डाटा: एसपी ने बताया कि ये सभी शातिर अपराधी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस(एआई) का इस्तेमाल का साइबर ठगी करता था। सभी गिरफ्तार साइबर आरोपी एंड्रॉयड सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट का विशेषज्ञ हैं और मैलवेयर डेवलपमेंट के लिए चैटजीपीटी का इस्तेमाल करते पाया गया हैं। कहा कि गिरोह के पास से करीब 2700 पीड़ितों के बैंक डेटा है। जिसमें पीड़ितों के फोन में लगभग 2.5 लाख संदेश शामिल है। इन आरोपियों की ओर से बनाया गया वेबसाइड को भी बरामद किया गया। वही आरोपियों के पास से जब्त मोबाइल फोन में करीब 2000 पीएनबी और 500 केनरा बैंक खाताधारकों का डेटा पाया गया। इसका इस्तेमाल बैंक के ग्राहकों को निशाना बनाने के लिए किया जाता था।

मोबाइल में 100 से अधिक फर्जी एपीके फाइल मिला: एसपी ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों के मोबाइल में 100 से अधिक फर्जी एपीके फाइल मिला है। जिस एपीके फाइल की जांच की जा रही है। जिसमें पीएम किसान योजना,पीएम फसल बीमा योजना,भारतीय स्टेट बैंक,केनरा बैंक,पंजाब नेशनल बैंक,एक्सिस बैंक,एनपीसीआई इंटरनेशनल जैसे फर्जी एपीके फाइल शामिल है। इनलोगों द्वारा एपीके फाइल को 20-25 हजार रूपए में अन्य साइबर आरोपियों को बेचता था। बताया कि इस गिरोह का एक फर्जी केंद्रीकृत पैनल भी मिला, जो हजारों पीड़ितो के एसएमएस देख सकता था।

जामताड़ा पुलिस ने गृह मंत्रालय से मांगी मदद: एसपी ने बताया कि यह गिरोह के भंडाफोड़ के लिए 08 जनवरी को छापेमारी की गई थी। लेकिन मुख्य सरगना भाग निकला था। कहा कि भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंंद्र के समन्वय पोर्टल के अनुसार गिरफ्तार आरोपियों के विरुद्ध देशभर में 415 कांड/शिकायत दर्ज है। इन साइबर ठगों ने अब तक 11 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की है। इस संबंध में जामताड़ा पुलिस ने गृह मंत्रालय व झारखंड सहायता तकनिकी सहायता टीम से मदद मांगी है।

ये रहे छापेमारी दल में शामिल: परीक्ष्यमान आईपीएस अधिकारी राधवेन्द्र शर्मा,परीक्ष्यमान पुलिस उपाधीक्षक चन्द्रशेखर,पुलिस निरीक्षक जयंत तिर्की व डीके वर्मा सहित अन्य शामिल है।

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