टूटी सड़कें, चलना हुआ मुश्किल हमारी सुध लेने वाला कोई नहीं
भेलाटांड़ आदिवासी टोला उडीपार के निवासी खराब सड़कों, नाली की कमी और पेयजल संकट से परेशान हैं। नगर निगम वार्ड नंबर 22 में स्थित इस गांव में सुविधाओं का अभाव है, जिससे स्थानीय लोग प्रशासन के प्रति नाराज...
भेलाटांड़ आदिवासी टोला उडीपार, यह धनबाद शहर से सटा है। नगर निगम वार्ड नंबर 22 में यह गांव पड़ता है। नगर निगम है तो शहर ही है, लेकिन सुविधाएं गांव वाली भी नहीं। सड़कें भी पूरी तरह जर्जर हो गईं । नाली अभी तक नहीं पाई। सफाई होती नहीं और स्ट्रीट लाइट सहित अन्य सुविधाएं भी नदारद हैं। पेयजल का कनेक्शन तो मिला है, मगर अभी पानी घरों तक नहीं पहुंच सका है। यहां पीने के पानी तथा सड़क की समस्याओं से लोग परेशान है। मात्र एक चापाकल ही यहां के लोगों के लिए पीने के पानी का सहारा है। नगर निगम वार्ड 22 के भेलाटांड़ गांव के आदिवासी टोला उडीपार के रहने वाले लोगों में आक्रोश है। प्रशासन के प्रति नाराजगी तथा गुस्सा होने दिखता है। हिन्दुस्तान की टीम के संवाद के लिए भेलाटाड़ आदिवासी टोला उडीपास पहुंचने पर आदिवासी परिवार के सदस्यों ने बताया कि यहां समस्याओं की भरमार है। हम लोगों को अभीतक यह महसूस नहीं होता है कि हमलोग नगर निगम क्षेत्र में हैं। सड़क, नाली, पेयजल और साफ-सफाई की कोई व्यवस्था नहीं है। सड़कें पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई। सड़क में गड्ढों की भरमार हो गई है। वर्षों से यही स्थिति बनीं हुई है। दर्जनों बार नगर निगम को लिखित शिकायत की गई है लेकिन कोई लाभ नहीं मिली है। सरकार आदिवासियों को प्रश्रय देने की बात करती है और नगर निगम को आदिवासियों की सुविधाओं से कोई लेना-देना नहीं है।
मनोज महतो कहते हैं कि शहर से सटे होने के बाद भी इस मुहल्ले में अभी तक नाली का निर्माण नहीं हुआ है। नाली की व्यवस्था न होने के कारण लोगों के घरों का पानी सड़क पर बह रहा है। सड़क पर पानी बहने के कारण लोगों का आवागमन में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। यहां की सड़कें पूरी तरह जर्जर हो गईं हैं। इस मोहल्ला होते हुए लोग कार्मिक नगर, बापूनगर, दिल्ली पब्लिक स्कूल, आईआईटी आईएसएम, पुलिस लाइन, हीरापुर, रानीबांध, बिनोद बिहारी महतो कोयलांचल यूनिर्वसिटी, आठ लेन सड़क व प्रभातम मॉल लोग हैं। इसके बाद भी सड़क की मरम्मत नहीं की गई है। जिसके कारण लोगों को काफी परेशानी हो रही है। नगर निगम चुनाव का कार्यकाल खत्म हुए पांच वर्ष बीत चुका है। ग्रामीणों ने कहा कि जल्द-जल्द नगर निगम का चुनाव हो ताकि विजयी उम्मीदवार पर दबाब बना कर सड़क बनवाई जाए।
रविलाल हेम्ब्रम ने कहा कि गांव से नगर निगम में शामिल हो गए लेकिन नगर की सुविधाएं नहीं है। मोहल्ले की सड़क टूट गई है। नाली का निर्माण भी नहीं कराया गया है, जिससे जल निकासी की व्यवस्था नहीं है। सड़क, नाली, सफाई पेयजल और स्ट्रीट लाइट जैसी सुविधाएं मिलनी चाहिए। भेलाटांड़ के कुछ-कुछ जगह स्ट्रीट लाइटें लगी है। मगर इस मोहल्ले में लाइट की व्यवस्था नहीं है। रात में सड़कों पर अंधेरा छाया रहता है, जिसके कारण लोगों को आवागमन में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। भेलाटांड़ आदिवासी टोला उडीपार कई गांवों को शहर से जोड़ता है।
वीपी मिश्रा ने बताया इस मोहल्ले में जब से घर बनाया हूं तब से सड़क की दशा हमेशा खराब ही रहती है। स्ट्रीट लाइट नहीं होने के कारण अंधेरा रहता है। बच्चों को ट्यूशन से आने के वक्त टोर्च या मोबाइल का सहारा लेना पड़ता है। कभी-कभी जहरीले सांप नजर आ जाते है। जिसके कारण डर-डर कर चलना पड़ता है। स्ट्रीट लाइट लगनी अति आवश्यक है।
सड़क और नाली निर्माण की जाए
भेलाटांड़ आदिवासी टोला उडीपार मोहल्ला में 8 सौ से लेकर एक हजार लोग रहते है। अगल-बगल कॉलोनियां भी बसी हैं। होल्डिंग टैक्स, पानी का बिल देने के बावजूद व्यवस्था में कोई सुधार नहीं हो रहा है। सुविधाओं का अभाव है। सड़क, नाली, स्ट्रीट लाइट व पेयजल की समस्या से निदान के लिए नगर निगम से लोगों ने एक सूर में मांग की। लोगों ने ज्योतिलाल सोरेन के घर से हरिमंदिर भेलाटांड़ तक सड़क मरम्मत कराने साथ ही ज्योतिलाल सोरेन के घर से लेकर इंद्रदेव प्रसाद महतो के घर तक नाली निर्माण कराने की मांग की है। क्योंकि इंद्रदेव प्रसाद महतो के घर के बाद से नाली बनी हुई है।
बिजली पोल बदलने की मांग
भेलाटांड़ आदिवासी टोला उडीपार में बिजली के पोल पुराने हो गए। कहीं-कहीं पुराने पोल पर नये केबल लगाया गया है मगर पोल पर बॉक्स नहीं लगाया गया है। बारिश के मौसम में कनेक्शन के ज्वाइंट पर स्पार्क करते रहता है। जिसके कारण बिजली आनी बंद हो जाती है। बिजली विभाग को बहुत बार इस पर ध्यान आर्किषत करने की कोशिश की गई मगर आज तक नहीं लग पाया है। बिजली विभाग को इस पर तत्काल ध्यान देना चाहिए।
आवास के लिए आवेदन दिए दो साल हो गए
भोलू महतो ने कहा कि सरकारी आवास जैसी सुविधा कुछ लोगों को मिली है । आधा से अधिक को नहीं मिला है। हम दो साल पहले आवदेन दिए थे, मगर आज तक नहीं बना है। बिजली के पोल पर केबल लगा है मगर बॉक्स सिस्टम नहीं है। नगर निगम की तरफ से कभी सफाई कर्मी नजर नहीं आये है। सड़क पर गंदगी हमेशा पसरी रहती है। गंदगी के कारण मोहल्ले में मच्छरों का प्रकोप हमेशा रहता है। जिस कारण हमेशा लोग बीमार पड़ जाते है। शहर से सटे होने के बावजूद यहां कभी फोगिंग नहीं हुई है।
कई संस्थान व प्रतिष्ठान को जोड़ता यह मोहल्ला
धनबाद के कई संस्थान, प्रतिष्ठान व शहर के मुख्य मार्ग तक जाने के लिए इस मोहल्ला की सड़क का योगदान अहम है। रोजाना सैकड़ों लोग इस मार्ग से आना-जाना करते है। इसके बावजूद महत्वपूर्ण सड़क जर्जर है। जगह-जगह बड़े-बड़े गड्ढे बन गए है। सबसे परेशानी बारिश के दिनों में होती है। बारिश में सड़क कीचड़ में तब्दील हो जाती है। इससे लोगों को आवागमन करना कठिन हो जाता है।
श्मशान घाट की चहारदीवारी की मांग
भेलाटांड़ के ग्रामीणों ने कहा कि हमारे गांव के चारों तरफ कॉलोनियां बस गई है। शव जलाने व दफनाने के लिए एक मात्र जोड़िया ही बची है।यहां श्मशान घाट के लिए जमीन उपलब्ध है। मगर इस जमीन पर भू-माफिया की नजर है। धीरे-धीरे श्मशान घाट की जमीन कम होती जा रही है। दाह संस्कार जोड़िया में किया जाता है। ग्रामीणों ने श्मशान घाट की चार दीवारी निर्माण कराने के लिए नगर आयुक्त को पत्र भेजा गया है। नगर आयुक्त से आग्रह है कि तेलीपाड़ा श्मशान घाट की तरह भेलाटांड़ में भी श्मशान घाट की चहारदीवारी निर्माण व सौंदरीकरण कार्य शुरू कराने की पहल करें।
सुझाव
1. पाइप लाइन को दुरूस्त कर पेयजलापूर्ति बहाल करने की जरूरत है। गर्मी आने के पहले इस पर ध्यान दें नगर निगम।
2. ज्योति सोरेन के घर से इंद्रदेव प्रसाद महतो के घर तक नाली निर्माण हो, तभी सड़क पर घर का पानी ना बहे।
3. हरि मंदिर से लेकर ज्योति लाल सोरेन तक सड़क निर्माण अति आवश्यक है। क्योंकि यह सड़क पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई है।
4. इस मोहल्ले में स्ट्रीट लाइट लगानी बहुत जरूरी है। लाइट लग जाने से रात में आने-जाने में परेशानी नही होगी।
5. दो-तीन चापाकल लगाने की व्यवस्था तत्काल हो। क्योंकि गर्मी में तालाब सूख जाता है। नहाने-धोने में परेशानी न हो।
शिकायतें
1. नगर निगम की ओर से पेयजलापूर्ति के लिए घर-घर कनेक्शन दिया गया है, मगर पानी नहीं पहुंच रहा है।
2. भेलाटांड़ के इस मोहल्ला में नाली का निर्माण नहीं हुआ है। जिसके कारण घर का पानी सड़क पर बह रहा है।
3. सड़क पूरी तरह जर्जर हो गई है। जगह-जगह गड्ढे बन गए है। जिसमें लोगों को चलना मुश्किल हो रहा है।
4. स्ट्रीट लाइट नहीं है। जिसके कारण रात में अंधेरा रहता है। बिजली पोल पर केबल है मगर बॉक्स नहीं है।
5. सफाई कर्मी कभी नहीं आते है। बगल के कॉलोनी में सफाई होती है, मगर इस मोहल्ला को छोड़ दिया जाता है।
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