बाल सुधार गृह में किशोरों को टूरिस्ट गाइड बनाने की ट्रेनिंग
धनबाद के बाल सुधार गृह में किशोरों को टूरिस्ट गाइड बनने की ट्रेनिंग दी जा रही है। कर्नल जेके सिंह ने बताया कि ये प्रयास किशोरों को समाज में पुनः स्थापित करने और उन्हें स्वाबलंबन बनाने में मदद करेंगे।...

धनबाद, वरीय संवाददाता बाल सुधार गृह में किशोरों को टूरिस्ट गाइड बनाने की ट्रेनिंग दी जा रही है। ताकि जब ये किशोर सुधार गृह से बाहर निकलें तो समाज की मुख्यधारा से जुड़ सकें। यह बातें बाल सुधार गृह के नोडल ऑफिसर कर्नल जेके सिंह ने बतायीं।
उन्होंने कहा कि कई बार देखा गया है कि किशोर यहां से निकलने के बाद सही देखभाल के अभाव में फिर से अपराध की दुनिया में कदम रख देते हैं, लेकिन हाल के दिनों में सुधार गृह में जो योजनाएं चलाई जा रही है, उसे इन किशोरों को बहुत लाभ होगा। जब यहां से बाह निकलेंगे तो उनके हाथ में हुनर होगा, जो उन्हें किसी भी परिस्थिति में स्वाबलंबन बना सकता है।
कर्नल जेके सिंह ने बताया कि रविवार को छत्रपति शिवाजी महाराज के 11 ऐतिहासिक किलों से लाए गए जल और वीरगति प्राप्त भारतीय सैनिकों की स्मृति में बनाए गए राष्ट्रीय युद्ध स्मारक स्थल से लाई गई मिट्टी को बरमसिया स्थित बाल सुधार गृह में पौधरोपण के तहत शौर्य वृक्ष के तौर पर स्थापित किया गया। सभी किशोरों ने स्मारक स्थल की मिट्टी को हाथों में लेकर क़ानून का पालन करने की प्रतिज्ञा ली है। किशोर कुशल टूरिस्ट गाइड बनाने की ट्रेनिंग ले रहे हैं। झारखंड के प्रसिद्ध टूरिस्ट प्लेस की सूची बनाई गई है और स्क्रिप्ट तैयार की गई है। प्रत्येक किशोर को 24 दिनों तक हर दिन पांच बार इसे पढ़ते हैं और याद करते हैं। यह कार्यक्रम धनबाद के साथ-साथ रांची, हजारीबाग, दुमका, जमशेदपुर के बाल सुधार गृह में रह रहे किशोरों के लिए शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि बच्चों के बीच अक्षर ज्ञान कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं, जिसमें उन्हें बुनियादी शिक्षा प्रदान की जा रही है।
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