Hindi Newsविदेश न्यूज़The sky was decorated with amazing views this happened for the first time in 1.6 lakh years did you see

अद्भुत नजारों से सजा था आसमान, 1.6 लाख साल में पहली बार हुआ ऐसा; आपने देखा?

  • इस धूमकेतु ने अपनी शानदार मौजूदगी से सबको मंत्रमुग्ध कर दिया। ये धूमकेतु पिछले 1.6 लाख सालों में पहली बार धरती के करीब आया और इसके नजारे ने आसमान को और रोशन कर दिया।

Himanshu Tiwari लाइव हिन्दुस्तानWed, 15 Jan 2025 05:23 PM
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कल्पना कीजिए कि एक ऐसा नजारा जो इंसानी आंखों ने हजारों साल से नहीं देखा! जी हां, आकाश में एक दुर्लभ धूमकेतु 'सी/2024 जी3 (एटलस)' ने हाल ही में अपनी चमक बिखेरी। नासा के मुताबिक, यह धूमकेतु इतना चमकदार था कि आप इसे बिना किसी टेलिस्कोप के भी देखा गया। यह रोमांचक घटना 1.6 लाख साल बाद पहली बार 13 जनवरी को हुई।

इस धूमकेतु ने अपनी शानदार मौजूदगी से सबको मंत्रमुग्ध कर दिया। ये धूमकेतु पिछले 1.6 लाख सालों में पहली बार धरती के करीब आया और इसके नजारे ने आसमान को और रोशन कर दिया। यह धूमकेतु को पहली बार 5 अप्रैल 2024 को चिली स्थित "एस्टेरॉइड टेरिस्ट्रियल-इम्पैक्ट लास्ट अलर्ट सिस्टम" (ATLAS) के जरिए खोजा गया था। इस धूमकेतु का सूरज के चारों ओर चक्कर लगाने का समय 1.6 लाख साल है। इस बार ये धूमकेतु धरती से करीब 87 लाख मील और सूरज से 83 लाख मील की दूरी पर आया, जो इसे बेहद खास बनाता है।

धूमकेतु की चमक हाल के हफ्तों में तेजी से बढ़ी। खासकर 2 जनवरी को हुए एक जबरदस्त विस्फोट के बाद इसकी चमक +19 मैग्नीट्यूड से बढ़कर -3.2 मैग्नीट्यूड तक पहुंच गई। खगोलविदों के अनुसार, ये चमक वीनस ग्रह की चमक के बराबर (-4.5 मैग्नीट्यूड) तक पहुंच सकती है, जो इसे बिना किसी उपकरण के नंगी आंखों से देखने लायक बना देती है।

हालांकि, इसकी बढ़ती चमक ने वैज्ञानिकों के बीच इसके स्थायित्व को लेकर चिंता भी पैदा की है। सूरज के करीब आने पर धूमकेतु के टूटने का खतरा हमेशा बना रहता है। इस धूमकेतु को सबसे बेहतर तरीके से दक्षिणी गोलार्ध के लोग देख सकते हैं। इस दुर्लभ नजारे को नासा के अंतरिक्ष यात्री डॉम पेटिट ने अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) से भी कैमरे में कैद किया। इन तस्वीरों ने इसकी खूबसूरती को और ज्यादा उजागर कर दिया।

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