जडेजा या सुंदर नहीं, बल्कि आर अश्विन को पर्थ टेस्ट में मौका दे सकती है भारतीय टीम; जानिए क्या है कारण
- रविंद्र जडेजा या वॉशिंगटन सुंदर नहीं, बल्कि आर अश्विन को पर्थ टेस्ट मैच में मौका मिल सकता है। भारतीय टीम सिर्फ एक ही स्पिनर के साथ उतर सकती है। इसके पीछे का कारण ये है कि ऑस्ट्रेलिया के पास कई लेफ्ट हैंडर हैं।
बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के पहले टेस्ट मैच में किस प्लेइंग इलेवन के साथ उतरा जाए? ये एक बड़ा सवाल जसप्रीत बुमराह के लिए होगा, जो रोहित शर्मा की अनुपस्थिति में पर्थ टेस्ट मैच में टीम के कप्तान होंगे। सबसे बड़ी माथापच्ची तो इस चीज के लिए होनी है कि अगर एक स्पिनर के साथ उतरना है तो वह कौन होना चाहिए। मौजूदा समय में टीम के पास तीन विकल्प हैं, जिनमें एक आर अश्विन, दूसरे रविंद्र जडेजा और तीसरे वॉशिंगटन सुंदर हैं। हालांकि, पहले टेस्ट मैच में आर अश्विन को मौका मिल सकता है। ऐसा क्यों हो सकता है? इसके पीछे का कारण भी जान लीजिए।
दरअसल, जडेजा और सुंदर आपको बॉलिंग के साथ-साथ बैटिंग का ऑप्शन भी देंगे, लेकिन आर अश्विन ऑस्ट्रेलिया की पेस की मददगार पिचों पर आपको अच्छी स्पिन गेंदबाजी करके देंगे। उनको अच्छा खासा अनुभव है और थोड़ी बहुत बल्लेबाजी भी वे कर लेते हैं। इसके अलावा प्रमुख कारण उनको मौका मिलने का ये है कि ऑस्ट्रेलिया की टीम में बाएं हाथ के तीन बल्लेबाज हैं, जबकि दो लेफ्टी टेलएंडर्स भी हैं। ऑस्ट्रेलिया की टीम में ओपनर उस्मान ख्वाजा, ट्रेविस हेड और एलेक्स कैरी बाएं हाथ के बल्लेबाज हैं, जो भारत की मुश्किल बढ़ा सकते हैं। ऐसे में इनसे निपटने के लिए अश्विन को मौका दिया जा सकता है।
अश्विन का रिकॉर्ड स्टीव स्मिथ और मार्नस लाबुशेन के खिलाफ भी अच्छा है। इसके अलावा वे युवा बल्लेबाज नाथन मैकस्वीनी को भी परेशान कर सकते हैं। यही वजह है कि अश्विन को सुंदर और जडेजा से पहले मौका मिलने की उम्मीद है। वहीं, अगर तेज गेंदबाजी की बात करें तो जसप्रीत बुमराह के साथ मोहम्मद सिराज नजर आएंगे। तीसरे पेसर आकाश दीप या प्रसिद्ध कृष्णा हो सकते हैं। चौथे पेसर के तौर पर नितीश रेड्डी को मौका दिया जा सकता है, जो पेस बॉलिंग के साथ-साथ बैटिंग में भी मजबूती देंगे।
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