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UP Police Bharti : यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा में AnyDesk सॉफ्टवेयर से नकल, बड़ौत से गैंग का सदस्य गिरफ्तार

  • एसटीएफ की मेरठ यूनिट ने यूपी पुलिस कंप्यूटर ऑपरेटर भर्ती परीक्षा में सेंधमारी करने वाले गिरोह के एक सदस्य की गिरफ्तारी बागपत के बड़ौत में की है। गैंग के 12 सदस्यों को पूर्व में ही यूपी एसटीएफ गिरफ्तार कर चुकी है।

Pankaj Vijay लाइव हिन्दुस्तानFri, 11 Oct 2024 04:38 PM
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एसटीएफ की मेरठ यूनिट ने यूपी पुलिस कंप्यूटर ऑपरेटर भर्ती परीक्षा में सेंधमारी करने वाले गिरोह के एक सदस्य की गिरफ्तारी बागपत के बड़ौत में की है। आरोपी को बड़ौत कोतवाली पुलिस के हवाले किया गया है। कोतवाली में इस गिरोह को लेकर पूर्व में ही मुकदमा दर्ज कराया गया था और एसटीएफ इससे पहले 12 आरोपियों की गिरफ्तारी भी कर चुकी है। इस गिरोह ने गाजियाबाद के दुहाई स्थित विधान स्कूल की कंप्यूटर लैब को हैक कर नकल कराई थी।

नकल माफिया ने यूपी पुलिस कंप्यूटर ऑपरेटर भर्ती परीक्षा के दौरान अभ्यर्थियों से मोटी रकम लेकर कई तरह से नकल कराई थी। एसटीएफ को इसकी भनक लगी तो घेराबंदी शुरू की गई। खुलासा हुआ कि जिन कंप्यूटर लैब में परीक्षाएं कराई जा रही थी, वहां लैब के कंप्यूटर सिस्टम को हैक कर/एनीडेस्क एप्लीकेशन की मदद से नकल कराने और सॉल्वर बैठा कर नकल कराई जा रही थी। इसके बाद एसटीएफ ने बागपत में पूर्व में छापेमारी करते हुए 7 फरवरी 2024 को इस गिरोह का भंडाफोड़ किया और 12 आरोपियों की गिरफ्तारी की गई। रिमोट एक्सिस सॉफ्टवेयर की मदद से पेपर हल कराने वाले गैंग के सरगना रचित समेत 12 आरोपियों को बड़ौत कोतवाली पुलिस के हवाले किया गया और मुकदमा दर्ज कराया गया। इसी गिरोह में शामिल राम चौहान उर्फ राम अवतार पुत्र रूपचंद निवासी गांव भिडूकी, हसनपुर पलवल हरियाणा फरार चल रहा था। आरोपी के बड़ौत आने की सूचना एसटीएफ की मेरठ यूनिट को गुरुवार को मिली थी। इसके बाद टीम ने आरोपी राम चौहान को बड़ौत तहसील के पास दबोच लिया।

हैकिंग का कोर्स कर चुका राम चौहान

एसटीएफ ने खुलासा किया कि राम चौहान 12वीं पास है और वर्ष 2015-16 में आरएस कंप्यूटर्स पलवल हरियाणा से हैकिंग का छह माह का कोर्स कर चुका है। इसके बाद आरोपी ने वर्ष 2021 में सीटेट परीक्षा में सेंधमारी की थी, जिसे लेकर नोएडा के सेक्टर-58 में धरपकड़ हुई और राम चौहान को जेल भेजा गया।

शामली के नितिन और रचित संग मिलकर बनाया गैंग

एसटीएफ के एएसपी ब्रिजेश सिंह ने खुलासा किया कि वर्ष 2024 में राम चौहान की मुलाकात नितिन निवासी गढ़ी-रामकोर शामली निवासी नितिन और गाजियाबाद के दुहाई में कंप्यूटर लैब चनाने वाले रचित से हुई। तीनों ने मिलकर गैंग बनाया और कंप्यूटर ऑपरेटर भर्ती परीक्षा में नकल कराने की योजना बनाई। इन आरोपियों ने गाजियाबाद के दुहाई स्थित विधान पब्लिक स्कूल की कंप्यूटर लैब् के लिए आवेदन किया और 29 जनवरी 2024 से 8 फरवरी 2024 के बीच होने वाली कंप्यूटर ऑपरेटर भर्ती परीक्षा का सेंटर इसी कंप्यूटर लैब को मिल गया था।

तीन कंप्यूटर साफ्टवेयर से नकल कराई

राम चौहान ने नितिन, रचित और रोहित के कहने पर 28 जनवरी को गाजियाबाद की कंप्यूटर लैब में जाकर एनीडेस्क, नोड-जेएस, पायथन-लांचर नाम के तीन साफ्टवेयर एक मास्टर कंप्यूटर सिस्टम में डाले थे। इसके बाद इसी कंप्यूटर की मदद से ही जिस भी कंप्यूटर को कंट्रोल करना होता था, उसे कर सकते थे। पूछताछ में खुलासा हुआ कि गैंग के सदस्यों ने एक अभ्यर्थी से नकल कराने के नाम पर 4 से 5 लाख रुपये की रकम ली थी।

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