Hindi Newsकरियर न्यूज़UP: Recognition was given to paramedical colleges by making a fake board after doing the course for many years the student came to know the reality

यूपी :फर्जी बोर्ड बना पैरामेडिकल कॉलेजों को दे दी मान्यता, कई साल तक कोर्स करने के बाद छात्र को ऐसे पता चली हकीकत

paramedical colleges by making a fake board:फर्जी बोर्ड से मान्यता प्राप्त करने वाले पैरा मेडिकल कॉलेजों में दाखिला लेने वाले छात्रों का भविष्य अधर में फंस गया है। कोर्स के लिए हजारों रुपये फीस भरने क

Anuradha Pandey संवाददाता, लखनऊFri, 23 Feb 2024 09:48 AM
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paramedical colleges :प्रदेश में संचालित हो रहे कई पैरामेडिकल कॉलेजों को फर्जी बोर्ड बना कर मान्यता दी गई। कई साल तक कोर्स करने के बाद छात्र रजिस्ट्रेशन कराने के लिए यूपी स्टेट मेडिकल फैकल्टी के माल एवेन्यू स्थित दफ्तर पहुंचे। जिसके बाद फर्जी बोर्ड के बारे में पता चला। बुधवार को यूपी स्टेट मेडिकल फैकल्टी की प्रशासनिक अधिकारी सुनीता मलिक ने हुसैनगंज कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है।

प्रयागराज में मुख्यालय, जानकीपुरम में ब्रांच ऑफिस प्रशासनिक अधिकारी सुनीता मलिक के मुताबिक प्रयागराज धूमनगंज में बोर्ड ऑफ मेडिकल हेल्थ साइंस एण्ड रिसर्च का मुख्यालय है। ब्रांच ऑफिस जानकीपुरम में है। इस बोर्ड की तरफ से पैरा मेडिकल/ नर्सिंग कोर्स के लिए कई संस्थानों को मान्यता प्रदान की गई, जबकि बोर्ड मान्यता देने के लिए अधिकृत ही नहीं है। सुनीता के मुताबिक यूपी स्टेट मेडिकल फैकल्टी को मान्यता देने का अधिकार है। इस बात की जानकारी होने के बाद भी फर्जी बोर्ड ने मान्यता प्रदान कर दी। इंस्पेक्टर हुसैनगंज राम प्रकाश गुप्ता ने बताया कि प्रशासनिक अधिकारी की तहरीर पर धोखाधड़ी की धारा में मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है।
 

संस्थानों को दी गई मान्यता
नर्सिंग और पैरामेडिकल कोर्स कर चुके छात्रों ने रजिस्ट्रेशन के लिए हुसैनगंज माल एवेन्यू स्थित यूपी स्टेट मेडिकल फैकल्टी के दफ्तर पहुंच कर सम्पर्क किया। दस्तावेज चेक करने पर पता चला कि बोर्ड ऑफ मेडिकल हेल्थ साइंस एण्ड रिसर्च से कई संस्थानों को मान्यता प्रदान की गई थी। ऐसे में छात्रों का रजिस्ट्रेशन होना सम्भव नहीं था। फर्जी बोर्ड के बारे में पता चलने के बाद प्रशासनिक अधिकारी ने तहरीर दी।

फीस के लिए छात्रों के भविष्य से खिलवाड़
फर्जी बोर्ड से मान्यता प्राप्त करने वाले पैरा मेडिकल कॉलेजों में दाखिला लेने वाले छात्रों का भविष्य अधर में फंस गया है। कोर्स के लिए हजारों रुपये फीस भरने के साथ छात्रों ने कई साल तक मेहनत की। अंत में उनका रजिस्ट्रेशन ही नहीं हो सका। इंस्पेक्टर राम प्रकाश गुप्त ने बताया कि किन-किन पैरामेडिकल/ नर्सिंग कॉलेजों को फर्जी बोर्ड बना कर मान्यता दी गई है। इसकी जांच की जाएगी।

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