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यूपी बोर्ड रिजल्ट 2022: 10वीं 12वीं के टॉपरों की कहानी, किसी के पिता मजदूर तो किसी के किसान, IAS और आर्मी अफसर बनना है सपना

यूपी बोर्ड 10वीं 12वीं रिजल्ट जारी होने के बाद परीक्षार्थियों को अपनी मेहनत का फल मिल गया है। मेधावी छात्रों में कोई मजदूर की बेटी है तो कोई मिस्त्री की। कोई आईएएस ऑफिसर बनना चाहता है तो कोई सैन्य अफस

Pankaj Vijay हिन्दुस्तान, नई दिल्लीSat, 18 June 2022 09:55 PM
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यूपी बोर्ड 10वीं 12वीं रिजल्ट जारी होने के बाद परीक्षार्थियों को अपनी मेहनत का फल मिल गया है। मेधावी छात्रों में कोई मजदूर की बेटी है तो कोई मिस्त्री की। कोई आईएएस ऑफिसर बनना चाहता है तो कोई सैन्य अफसर या प्रोफेसर। किसी ने बिना कोचिंग के यह मुकाम हासिल किया तो किसी ने दिन में 10-12 घंटे पढ़ाई करके अपना सपना साकार किया। यहां पढ़ें यूपी बोर्ड 10वीं 12वीं के टॉपरों के संघर्ष की कहानी-

यूपी बोर्ड 12वीं टॉपर दिव्यांशी बनना चाहती है IAS अफसर
फतेहपुर की रहने वाली दिव्यांशी ने यूपी बोर्ड परीक्षा में 95.4 अंक लाकर टॉप किया। किसान की बेटी दिव्यांशी ने 500 में से कुल 477 अंक मिले हैं। उन्होंने अपनी इस कामयाबी का श्रेय अपने माता-पिता और बड़ी बहन को दिया है। साइंस स्ट्रीम की दिव्यांशी ने बताया कि वह ऑनलाइन पढ़ाई से संतुष्त नहीं हैं, ऑफलाइन कई मायनों में बेहतर है। वह देश की सेवा और महिलाओं के उत्थान के लिए सिविल सेवा में जाना चाहती हैं। शहर के राधानगर निवासी राधेकृष्ण अग्रहरी के पास सात बीघा खेती है। उसी की कमाई पर चार बेटियों व एक बेटे की पढ़ाई समेत परिवार का खर्च निर्भर है। राधेकृष्ण बताते हैं कि दिव्यांशी बचपन से ही पढ़ने में अव्वल है। हाईस्कूल में उसने 93.05 फीसदी अंक लाकर प्रदेश में 13वां स्थान हासिल किया था। उसके बाद उन्होंने उसे कोचिंग के साथ आनलाइन पढ़ाई शुरू कराई। वह रोजाना लगभग आठ से 10 घंटे पढ़ाई करती थी। उसकी लगन देख विश्वास था कि वह टॉपरों में जरूर आएगी। 

किसान के बेटे प्रिंस ने यूपी बोर्ड 10वीं में किया टॉप
यूपी बोर्ड की दसवीं की परीक्षा में पूरे उत्तर प्रदेश में टॉप करने वाले प्रिंस पटेल ने कहा कि कहा कि वो 5-6 घंटे गंभीरता से पढ़ाई करते थे। प्रिंस का कहना है कि वो आगे एनडीए में अधिकारी बनना चाहते हैं। कानपुर जिले के रहने वाले प्रिंस पटेल को 97.66 फीसदी नंबर मिले हैं। प्रिंस को मैथ और साइंस में 100-100 नंबर मिले हैं। प्रिंस के पिता पेशे से किसान हैं। प्रिंस ने दसवीं की पढ़ाई कानुपर के घाटमपुर के अनुभव इंटर कॉलेज से की है।  सेकंड टॉपर मुरादाबद की रहने वाली संस्कृति ठाकुर को 600 में से 585 नंबर मिले हैं। संस्कृति ने कहा कि उसका सपना आईएएस अधिकारी बनने का है। 

पिकअप ड्राइवर की बेटी ने किया कमाल, 10वीं में बनी सेकेंड टॉपर 
यूपी बोर्ड, हाईस्कूल में कानपुर की किरन कुशवाहा ने 600 में 585 नंबर हासिल किए। वह प्रदेश की टापर लिस्ट में दूसरे नंबर पर हैं। शिवाजी इंटर कालेज अर्रा, कानपुर की छात्रा किरन के पिता संजय कुमार पिकअप चलाते हैं। संजय की पांच बेटियां हैं, जिनमें किरन सबसे छोटी है। मां रूमा देवी हाउस वाइफ हैं। किरन ने कहा कि यह सफलता परिवार, गुरुजनों और ईश्वर की कृपा से मिली है। उनकी मां रूमा देवी ने कहा कि वह बेटी को खूब पढ़ाना चाहती हैं लेकिन आर्थिक हालात ऐसे नहीं हैं। नौबस्ता, खाड़ेपुर निवासी संजय की पांच बेटियों में तीन की शादी हो चुकी है। सबसे छोटी किरन है। बेटे नही हैं। किरन की मां रूमा ने कहा- कोरोना के दौरान घर के हालात बिगड़ गए बेटी की फीस भी जमा नही कर पाते थे। उस वक्त स्कूल छुड़वाने का विचार आया। लेकिन तब बेटी ने कहा, माँ मुझे पढ़ने दो।
मैं हालात बदल दूंगी। किरन ने कहा कि मैंने गरीबी देखी है। मुझे आगे पढ़ाई करके देश की गरीबों की सेवा करनी है। उनका जीवन बेहतर हो यह काम करना है। उसने बताया कि कोरोना काल में जब लाकडाउन लगा, परिवार को खाने के लिए भी जूझना पड़ा। प्रिंसिपल दिनेश अवस्थी ने कहा कि किरन पर उन्हें और उनके स्कूल को गर्व है। वह बहुत मेधावी है। उन्हें विश्वास है कि किरन आगे चलकर बड़ा मुकाम हासिल करेगी। किरन ने कहा कि कोरोना काल हमारे परिवार के लिए बहुत कठिन था। पापा के पास काम नहीं था। स्कूल ऑनलाइन पए़ा रहे थे। मेरे पास मोबाइल या लैपटॉप नहीं था। बड़ी बहन पूजा ने मेरी पढ़ाई के लिए मोबाइल खरीदकर दिया। उससे पढ़ाई की। संजय की तीन बेटियों की शादी हो चुकी है।

यूपी बोर्ड 10वीं में मजदूर की बेटी पलक ने पाया चौथा स्थान 
यूपी बोर्ड हाईस्कूल की परीक्षा में राज्य की मेरिट में चौथा स्थान पाने वाली पलक अवस्थी के पिता राज कुमार अवस्थी मजदूर हैं। पलक ने संसाधनों के अभाव के बावजूद बोर्ड परीक्षा में 97.17 फीसदी अंक हासिल कर शहर का गौरव बढ़ाया। शिवा जी इंटर कॉलेज अर्रा की छात्रा पलक की माता पिंकी अवस्थी का कहना है कि उनके पति ने मजदूरी कर अपना पेट काटा लेकिन बेटियों को पढ़ाने में कोई कसर नहीं छोड़ी।
 पलक का कहना है कि अगर आप अपनी पढ़ाई के लिए समय देते हैं और रिवीजन करते रहते हैं तो इससे अच्छे अंक लाने में मदद मिलती है। स्कूल में भी अच्छी पढ़ाई होती है। इसके बाद अगर घर पर चार घंटे ध्यान केंद्रित कर रेगुलर पढ़ाई की।

सटरिंग मिस्त्री की बेटी ने पाया यूपी बोर्ड 10वीं में 9वां स्थान , बनना चाहती है IAS
फतेहपुर के सटरिंग मिस्त्री हृदेश निषाद की बेटी रोशनी ने 96.17 फीसदी अंक लेक प्रदेश की सूची में नौवां स्थान हासिल किया है। लाडली की सफलता पर घर से स्कूल तक जश्न का माहौल है। रोशनी का सपना आईएएस बनकर देश की सेवा करना है। 
फतेहपुर के बक्सपुर की रहने वाली रोशनी निषाद जय मां सरस्वती ज्ञान मंदिर इण्टर कॉलेज, राधानगर की छात्रा है। शनिवार को परिणाम आते ही प्रदेश की सूची में नौंवा स्थान होने पर जानकारि मिलते ही परिवार में खुशियां बरस पड़ी। विद्यालय प्रबंधक समेत पूरे स्टाफ ने रोशनी के घर पहुंच कर उसे बधाई दी और मुंह मीठा कराया, साथ ही परिजनों को भी सम्मानित किया।
रोशनी की मां ललिता देवी ने बताया कि परिवार मुफलिसी के दौर से गुजर रहा है। दो बेटियां और एक बेटे को पढ़ाई-लिखाई कर होनहार बनाने का सपना पाले उनके पति मुंबई में सटरिंग का काम करते हैं। बेटी की सफलता पर ललिता देवी को गर्व हैं। वह कहती हैं बेटी का जो भी लक्ष्य हैं उसे पूरा कराने के लिए वह पूरा प्रयास करेंगी। रोशनी ने कहा कि सफलता से वह उत्साहित हैं, अभी उसका पूरा फोकस इंटरमीडिएट भी टॉप करने पर होगा। 

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