CBSE सिलेबस पर बेस्ड है NEET परीक्षा, तमिलनाडु बोर्ड वालों को होती है दिक्कत: DMK
संसद के मॉनसून सत्र के पहले ही दिन लोकसभा में नीट परीक्षा का मुद्दा गूंजा। डीएमके और सीपीआई (एम) ने लोकसभा में नीट परीक्षा के लेकर छात्रों की आत्महत्या को लेकर कार्यस्थगन प्रस्ताव दिया। डीएमके...
संसद के मॉनसून सत्र के पहले ही दिन लोकसभा में नीट परीक्षा का मुद्दा गूंजा। डीएमके और सीपीआई (एम) ने लोकसभा में नीट परीक्षा के लेकर छात्रों की आत्महत्या को लेकर कार्यस्थगन प्रस्ताव दिया। डीएमके सांसद टीआर बालू ने लोकसभा में कहा कि तमिलनाडु बोर्ड के स्टूडेंट्स को नीट परीक्षा के सीबीएसई सिलेबस पर बेस्ड होने के चलते काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। उन्होंने कहा, 'मैं इस सदन का ध्यान उन 12 स्टूडेंट्स के दुख की ओर ले जाना चाहूंगा जिन्होंने नीट के डर से आत्महत्या कर ली। वह सभी ग्रामीण पृष्ठभूमि से थे। उन्होंने 12वीं कक्षा राज्य बोर्ड से पास की था और नीट सीबीएसई सिलेबस पर आधारित होती है।'
टीआर बालू ने कहा, '12वीं का रिजल्ट आने के महज एक माह के भीतर उन्हें नीट परीक्षा देनी पड़ती है। उन्हें तैयारी का कोई अंदाजा ही नहीं लगा। सीबीएसई के सिलेबस की उन्हें कोई जानकारी नहीं थी, उन्होंने खुद को असहाय पाया और खुदकुशी की। भारत के भविष्य के डॉक्टरों ने इस तरह से खुदकुशी की।'
डीएमके पार्टी के सांसदों ने संसद परिसर में धरना भी दिया। इस दौरान उन्होंने NEET परीक्षा को रद्द करने की मांग की।
उधर, तमिलनाडु विधानसभा में भी डीएमके विधायकों ने अनोखे अंदाज में नीट के प्रति विरोध दर्ज कराया। उनके मास्क पर लिखा था कि 'बैन नीट सेव तमिलनाडु स्टूडेंट्स'।
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