कोटा में NEET और JEE Main की तैयारी कर रहे छात्र दें ध्यान, अब इंस्टीट्यूट और हॉस्टल में होगी सख्ती
कोटा प्रशासन ने सभी कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल संचालकों को विभिन्न प्रवेश परीक्षाओं की तैयारियों के लिए आने वाले कोचिंग छात्रों के लिए तय की गई गाइडलाइन की सख्ती से पालना करने के निर्देश दिए हैं।
राजस्थान में कोटा के जिला प्रशासन ने सभी कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल संचालकों को बाहर से विभिन्न प्रवेश परीक्षाओं की तैयारियों के लिए आने वाले कोचिंग छात्रों के लिए तय की गई गाइडलाइन की सख्ती से पालना करने के निर्देश दिए हैं। जिला मजिस्ट्रेट ओ पी बुनकर ने कहा है कि शहर में कोचिंग छात्रों को सकारात्मक माहौल मिलना चाहिए। पिछले सप्ताह कोटा-रावतभाटा रोड पर स्थित धार्मिक -प्राकृतिक स्थल गेपरनाथ महादेव के कुंड में कोटा से गये दो कोचिंग छात्रों के डूब कर मर जाने की घटना के बाद उसे गंभीरता से लेते हुये जिला मजिस्ट्रेट ओपी बुनकर ने कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल संचालकों की मंगलवार को बैठक बुलाई थी।
जिला मजिस्ट्रेट ने निर्देश दिए कि कोचिंग संस्थान, हॉस्टल एवं पीजी संचालक विद्यार्थियों को स्टेस फ्री माहौल दें, फिटनेस और उनकी रूचि की गतिविधियां उपलब्ध कराएं। साथ ही आपसी समन्वय रखते हुए निगरानी तंत्र मजबूत करें ताकि अवांछित घटनाओं पर विराम लग सके। उन्होंने गत दिनों कोचिंग स्टूडेंट्स से संबंधित हुई दुर्घटनाओं को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुये राज्य सरकार की गाइडलाइन की पूर्ण पालना सुनश्चित करने को कहा। साथ ही काउंसलिंग व मेंटर व्यवस्था को पुख्ता करने के निर्देश दिये ताकि प्रत्येक विद्यार्थी पर ध्यान रहे।
बुनकर ने कहा कि हॉस्टल एवं पीजी संचालकों का बच्चों के साथ स्थानीय अभिभावक सा व्यवहार हो और उनकी देखभाल एवं सुरक्षा में कोई कमी नहीं रहे। कोचिंग संस्थानों में वद्यिार्थियों की रिहायश की पूर्ण जानकारी मौजूद रहे और जहां रह रहे हैं, वहां से निरन्तर समन्वय भी रहे। बुनकर ने कहा कि कोचिंग स्टूडेंट्स को बेहतर माहौल की सुनश्चितिता के लिए कोचिंग, हॉस्टल संचालकों की नियमित तौर पर समीक्षा कर निगरानी तंत्र मजबूत किया जाएगा।
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