bihar board 10th result 2020: पटना के टॉपर छात्र-छात्राओं में कोई डॉक्टर तो कोई इंजीनियर बनना चाहता है
पटना सिटी की समीक्षा कुमारी ने जिले में टॉपर बनकर अपने स्कूल और परिवार के लोगों का मान बढ़ाया है। जिले के कई परिवारों के बच्चों ने अभावों में पढ़ाई और परीक्षा की तैयारी करके अन्य छात्र-छात्राओं के लिए...
पटना सिटी की समीक्षा कुमारी ने जिले में टॉपर बनकर अपने स्कूल और परिवार के लोगों का मान बढ़ाया है। जिले के कई परिवारों के बच्चों ने अभावों में पढ़ाई और परीक्षा की तैयारी करके अन्य छात्र-छात्राओं के लिए प्रेरणास्रोत बने हैं। टॉपर छात्र-छात्राओं में कोई डॉक्टर तो कोई इंजीनियर बनना चाहता है। उनका कहना था कि लक्ष्य बनाकर पढ़ाई करने से ही यह सफलता हासिल हुई है। एक रिपोर्ट...।
अनुशासन संग पढ़ाई से मिली सफलता
पटना जिले में पांचवें स्थान पर संयुक्त रूप से रही छात्रा रुखसार तनवीर का इरादा इंजीनियर बनने का है। वह अनुशासन के साथ पढ़ाई को अपनी सफलता का आधार मानती है। पंडारक प्रखंड के गोवासा शेखपुरा हाई स्कूल की छात्रा रुखसार तनवीर को 456 अंक हासिल हुए हैं। 91.2% अंक लाकर उसने पूरे जिले में पांचवां स्थान हासिल कर अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है। रुखसार के पिता तनवीर असलम किसान हैं। वहीं माता शायरा खातून गृहिणी है। भाई चार्टर्ड अकाउंटेंसी की पढ़ाई कर रहा है। रुखसार तीन बहने हैं। परिणाम को लेकर टॉपर रुखसार तनवीर का कहना है कि बेहतर की उम्मीद में काफी मेहनत की थी। परिणाम से वह काफी खुश है। इंटर के बाद उसका इरादा इंजीनियर बनने का है। माता पिता की सोच और प्रोत्साहन ने उसे सफलता के इस मुकाम तक पहुंचाया है। वही माता-पिता भी अपनी बिटिया की इस बड़ी सफलता को लेकर काफी खुश हैं।
इंजीनियर बनना चाहता है प्रशांत
होनहार बीरवान के होत चिकने पात वाली कहावत प्रशांत उर्फ जॉनसन पर बिल्कुल सटीक बैठती है। एक छोटे से मध्यम परिवार के बीच का छात्र आज अपनी मेहनत की बदौलत घर, परिवार, हाईस्कूल और फतुहा का नाम रौशन करने में सफल रहा है। मैट्रिक की परीक्षा में 456 अंकों के साथ उसने पटना जिले में 5 वां स्थान प्राप्त किया है। उसकी इस उपलब्धि पर पूरा परिवार फूला नहीं समा रहा। प्रशांत उर्फ जॉनसन बड़ा होकर इंजीनियर बनना चाहता है। मूलत: दनियावां प्रखंड के छोटे से गांव अंग्रेजचक निवासी प्रशांत के पिता जगदीश कुमार बच्चों की पढ़ाई के कारण दस वर्ष पूर्व फतुहा आ गए थे और किराए के मकान में रहते हुए कच्ची दरगाह में एक छोटी सी किराने की दुकान चलाकर बच्चों की परवरिश में जुट गए। इस सफलता पर हाईस्कूल के प्रिंसिपल डॉ. अरुण सिंह समेत सभी शिक्षक, शिक्षकेतर कर्मचारियों और फतुहा वासियों ने बधाई दी है।
लक्ष्य पाने को तैयारी में जुटा अशद रजा
आलमगंज थाना क्षेत्र के अग्रवाल टोला निवासी मो. अलाउद्दीन का बेटा मो. अशद रजा मैट्रिक की परीक्षा में जिले में चौथा स्थान प्राप्त कर परिवार का नाम रौशन किया है। उसके पिता मकान में रंग-रंगाई का काम करते हैं। मां सलमा बानो गृहिणी हैं। अशद की बड़ी बहन सचिवालय में काम करती है। जबकि उससे छोटी एक बहन व भाई अभी पढ़ाई कर रहा है। वह अपनी सफलता का श्रेय परिवारवालों को देता है। वह इंजीनियर बनना चाहता है। जिसके लिए वह अभी से ही तैयारी में जुट गया है।
सेल्फ स्टडी पर ज्यादा फोकस करती थी रुचि
मनेर प्रखंड के छोटे से गांव व्यापुर में रहने वाली रुचि चौधरी पटना जिला में टॉप फाइव में आई है। रुचि काफी अभाव में पली बढ़ी है। उसके पिता एक ग्रामीण चिकित्सक हैं और मां गृहिणी हैं। तीन भाइयों और दो बहनों में दूसरे नंबर पर रुचि ने बताया कि वह इंजीनियर बनना चाहती है। इंजीनियर बनकर देश सेवा से जुड़ना चाहती है। रुचि ने बताया कि सेल्फ स्टडी पर उसका काफी जोर था। वहीं, रुचि के टॉप फाइव आने पर पड़ोसियों समेत गांव के लोग काफी खुश है। पंचायत के मुखिया प्रमोद कुमार ने छात्रा को बधाई दी है।
सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनना चाहता है प्रिंस
कड़ी मेहनत और सच्ची लगन के साथ किया गया कार्य से सफलता अवश्य मिलती है। चाहे माहौल कैसा भी रहे। कुछ ऐसा ही कमाल उसरी बाजार निवार्सी ंरटू कुमार के बेटे प्रिंस कुमार ने मैट्रिक की परीक्षा में सफल होकर दिखाया है। प्रिंस ने जिले में दूसरा स्थान प्राप्त किया है। उसे 461 अंक यानी 92.2 फीसदी हासिल हुए हैं। उसने बताया कि आगे साइंस की पढ़ाई करनी है और सॉप्टवेयर इंजीनियर बनने की इच्छा है। बताया कि पढ़ाई में पिताजी का बहुत सहयोग मिला और सफलता उसी का परिणाम है। पिताजी आलू प्याज का व्यवसाय करते हैं। बताया कि उसरी बाजार से पैदल नरगदा हाई स्कूल जाया और आया करते थे। बड़ी बहन शीतल कुमारी भी इस वर्ष इंटर में अपने स्कूल दुनियारी इंटर स्कूल सराय में टॉप की है। मां गृहिणी हैं, बावजूद पढ़ाई करने को लेकर प्रेरित करती रहती हैं।
दनियावां की बेटी बनी नालंदा की चौथी टॉपर
दनियावां प्रखंड के मुरेडा गांव निवासी बिनोद चन्द्रवंशी की पुत्री श्वेता नानी घर तरौरा रहकर पढ़ाई करती थी। श्वेता बचपन मे दानियावां के दानाड़ा प्राथमिक विद्यालय में पांचवीं तक पढ़ाई कर छठी क्लास से आठवीं तक दानियावां के पीरबढौना मध्य विद्यालय में पढ़ी। नौंवी व दसवीं की पढ़ाई दानियावां के तरौरा गांव से सटे नालंदा के राजकीयकृत उच्च विद्यालय नगरनौसा से बिहार बोर्ड की परीक्षा दी। श्वेता दानियावां के फरीदपुर बाजार में सातवीं क्लास से ही शिक्षक अर्पित कुमार से र्कोंचग की क्लास लेती थी। उसके नालंदा जिले में चौथा स्थान आने से नानी घर और मुरेडा में खुशी का माहौल है। श्वेता डॉक्टर बनना चाहती है। नाना सतेंद्र सिंह, मां सुलेखा च दो भाई विवेक-विनीत श्वेता की उपलब्धि पर खुश हैं।
चिकित्सक बनकर गांव की सेवा करेगी रजनी
ब्यापुर गांव की रजनी सिंह ने जिले में संयुक्त रूप से तीसरा स्थान प्राप्त किया है। इससे पूरे मनेर सहित ब्यापुर के लोगों के बीच काफी खुशी का माहौल है। ब्यापुर स्थित अपने गांव में रंजनी को चिकित्सकीय सुविधा का अभाव काफी खलता रहता है। रजनी ने बताया कि पटना जिले में टॉप फाइव में आने के बाद उसकी इच्छाशक्ति बढ़ी है। वह चिकित्सक बनकर कर गांव के लोगों की सेवा करना चाहती है। उसका कहना है कि सभी छात्रों का अपना एक लक्ष्य जरूर तय करना चाहिए। इससे क्या करना है इसके बारे में पता रहता है। पिता पेशे से किसान और मां गृहिणी है। गांव के लोगों ने दो खुशियां मिलने पर छात्रा को बधाई दी है। वहीं, भाजपा के ग्रामीण मंडल अध्यक्ष प्रदीप गुप्ता ने छात्रा को बधाई दी है।
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