Hindi Newsबिज़नेस न्यूज़Success story of hitesh chimanlal doshi whos began with Rs 5000 is now worth 5 billion after waaree energies IPO

₹5000 उधार लेकर खड़ी कर दी करोड़ों की कंपनी, अब IPO आते ही छप्परफाड़ मुनाफा, सीधे ₹500 करोड़ का फायदा

  • सोलर पैनल बनाने वाली कंपनी वारी एनर्जीज आईपीओ बीते सोमवार को शेयर बाजार में लिस्ट हो गया। कंपनी के शेयर अपने आईपीओ प्राइस बैंड 1,503 रुपये के मुकाबले करीब 70 प्रतिशत उछाल के साथ 2,550 रुपये पर लिस्ट हुए।

Varsha Pathak लाइव हिन्दुस्तानTue, 29 Oct 2024 12:40 PM
share Share

Waaree Energies IPO: सोलर पैनल बनाने वाली कंपनी वारी एनर्जीज आईपीओ बीते सोमवार को शेयर बाजार में लिस्ट हो गया। कंपनी के शेयर अपने आईपीओ प्राइस बैंड 1,503 रुपये के मुकाबले करीब 70 प्रतिशत उछाल के साथ 2,550 रुपये पर लिस्ट हुए। आज लिस्टिंग के दूसरे दिन भी इस शेयर में 5% की तेजी है। बीएसई पर यह शेयर आज 5% उछलकर दिन के हाई 2,454 रुपये पर पहुंच गए थे। जहां इस आईपीओ ने आम निवेशकों को तगड़ा रिटर्न दिया वहीं, इससे हितेश चिमनलाल दोशी को इस आईपीओ से रातोंरात छप्परफाड़ मुनाफा हुआ है। आखिर कौन हैं हितेश चिमनलाल दोशी? आइए जानते हैं विस्तार से...

5000 रुपये उधार लेकर शुरू की थी कंपनी

हितेश चिमनलाल दोशी वारी रिन्यूएबल्स टेक्नोलॉजीज के चेयरमैन हैं। दोशी ने साल 1985 में एक रिश्तेदार से 5,000 रुपये उधार लेकर मुंबई में पढ़ाई के दौरान ही कारोबार की दुनिया में कदम रखा। उन्होंने उधार के 5,000 रुपये से प्रेशर और टेंपरेचर गेज बेचने का कारोबार शुरू कर दिया। हालांकि, पढ़ाई और कारोबार दोनों को मैनेज करना दोशी के लिए काफी कठिन था। बावजूद उन्होंने 1,000 रुपये महीने के मुनाफे के साथ अपने कॉलेज की फीस और रहने के खर्च को कवर करते थे। बता दें कि सितंबर 1989 में उन्होंने अपने वेंचर को वारी इंस्ट्रूमेंट्स के नाम से रजिस्टर कराया था और पहले ही साल उनकी कंपनी का टर्नओवर 12,000 रुपये रहा था। अब लगभग 40 साल बाद दोशी की कंपनी रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर की सबसे बड़ी कंपनियों में से एक बन गई है और इसका मार्केट कैप 71,244 करोड़ रुपये हो गया।

ये भी पढ़ें:लिस्ट होते ही इस शेयर को खरीदने टूट पड़े निवेशक, ₹115 पर आ गया भाव

इस तरह बढ़ता चला गया कारोबार

2014 में इकोनॉमिक टाइम्स को हितेश ने एक इंटरव्यू में बताया था कि उनका जन्म महाराष्ट्र के बुलढाणा जिले के एक छोटे गांव में हुआ था। उनके पिता किराने की दुकान चलाते थे। गांव में बिजली और फोन जैसी सुविधाएं भी सीमित ही थीं। उस गांव में केवल 7वीं कक्षा तक की पढ़ाई होती थी, इसलिए उन्हें आगे की पढ़ाई के लिए साइकिल से दूसरे गांव जाना पड़ता था। 12 वीं के बाद वे मुंबई शिफ्ट हो गए और मुंबई विश्वविद्यालय के श्री चिनाई कॉलेज ऑफ कॉमर्स एंड इकोनॉमिक्स की डिग्री ली। इस दौरान ही उन्हें कारोबार को लेकर दिलचस्पी जगी और फिर अपने परिवार की आर्थिक बोझ को कम करने के लिए उन्होंने साल 1985 में एक रिश्तेदार से 5,000 रुपये उधार लेकर टेंपरेचर गेज का कारोबार शुरू कर दिया, फिर उन्हों पानी के पंप, हीटर, कुकर और लालटेन जैसे बिजली इक्विपमेंट में कारोबार की संभावना देखी। कुछ साल बाद ही उन्होंने अपनी छोटी सी कंपनी की स्थापना की और अपने गांव के वारी मंदिर के नाम पर कंपनी का नाम वारी एनर्जीज रखा। इसके लिए एक बैंक से 150,000 रुपये लोन भी लिए थे। धीरे-धीरे, उन्होंने अपने कारोबार को आगे बढ़ाया और 2007 में सोलर इक्विपमेंट का निर्माण शुरू किया। यही से वारी एनर्जी का विकास हुआ। उनका सबसे बड़ा ऑर्डर अमेरिका और यूरोप के ग्राहकों से आया था। एक सरकारी रिपोर्ट के अनुसार, अक्टूबर 2024 तक भारत में कुल स्थापित ऊर्जा क्षमता का लगभग आधा हिस्सा नवीकरणीय ऊर्जा का है और 457 गीगावाट ऊर्जा का 20% हिस्सा सौर ऊर्जा का है।

ये भी पढ़ें:लिस्टिंग के साथ ही ₹570 पर पहुंचा पावर कंपनी का शेयर, धनतेरस पर मालामाल निवेशक

अब इतनी हुई संपत्ति

सोमवार को वारी एनर्जी की लिस्टिंग के साथ दोशी और उनका परिवार दुनिया के सबसे अमीरों की कैटेगरी में शामिल हो गए। ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के अनुसार, वारी एनर्जी के शेयरों की लिस्टिंग के बाद दोशी परिवार की कुल संपत्ति लगभग 5 बिलियन डॉलर (500 करोड़ रुपये) हो गई। बता दें कि 57 वर्षीय वारी एनर्जीज के चेयरमैन और एमडी हैं, जबकि उनके दो भाई और भतीजे समूह में बोर्ड निदेशक हैं। यह परिवार इंजीनियरिंग ब्रांच वारी रिन्यूएबल टेक्नोलॉजीज लिमिटेड और एनर्जी स्टोरेज कंपनी वारी टेक्नोलॉजीज लिमिटेड का सबसे बड़ा शेयरधारक भी है, दोनों पहले से ही लिस्टेड कंपनी हैं।

वारी एनर्जीज 12,000 मेगावाट की क्षमता के साथ भारत में सबसे बड़ा सोलर मॉड्यूल निर्माता है। इसका अधिकांश राजस्व अमेरिका में निर्यात बिक्री से आता है, जो पिछले कुछ सालों में चीनी सोलर अन्य टैरिफ के कारण काफी बढ़ गया है। इस साल कुछ शेयरों में ग्लोबली तेजी के बीच भारत के रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर में निवेशकों की रुचि बढ़ रही है। बता दें कि कंपनी भारत के पूर्वी तट पर स्थित राज्य ओडिशा में 6 गीगावाट मैन्युफैक्चरिंग प्लांट बनाने के लिए आईपीओ से जुटाई गई रकम से 28 अरब रुपये खर्च करेगी।

 बजट 2024 जानेंHindi News  ,  Business News की लेटेस्ट खबरें, इनकम टैक्स स्लैब Share Market के लेटेस्ट अपडेट्स Investment Tips के बारे में सबकुछ।

अगला लेखऐप पर पढ़ें