पंजाब के सरकारी स्कूलों को स्कूल ऑफ एमिनेंस का दिया जा रहा दर्जा, उपलब्ध कराई जा रही कई सुविधाएं
- इन स्कूलों में बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार किया जा रहा है। इसके साथ ही उन्हें खेल और अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है।
पंजाब सरकार ने राज्य के 118 सरकारी स्कूलों को स्कूल ऑफ एमिनेंस के रूप में विकास किया है। जिसके लिए बेहतरीन इन्फ्रास्ट्रक्चर विकसित किया जा रहा है। इन स्कूलों में बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार किया जा रहा है। इसके साथ ही उन्हें खेल और अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है।
सभी सरकारी स्कूलों की बिल्डिंग को अच्छे से तैयार किया जा रहा है। साथ ही स्कूलों में खेल मैदान, लेबोरेटरी, लाइब्रेरी, लॉन टेनिस और स्वीमिंग पूल का भी निर्माण किया जा रहा है।
पहले लेनी होगी मंजूरी
स्कूल के प्राचार्य अपने अनुसार बदलाव नहीं करवा सकते। यदि वे कुछ अलग से बदलाव करना चाहते हैं तो इसके लिए उन्हें पहले जिला शिक्षा अधिकारी से परमिशन लेनी होगी। जिसके लिए कारणों के साथ आवेदन करना होगा। यदि अधिकारी को कारण सही लगते हैं तो बदलाव करने की मंजूरी दे दी जाएगी।
क्यों उठा ये मुद्दा
स्कूल ऑफ एमिनेंस के निर्माण के लिए की गई रिव्यू मीटिंग में इस मुद्दे को उस वक्त उठाया गया, जब स्कूल निर्माण से जुड़े आर्किटेक्ट ने शिकायत की कि स्कूलों के प्राचार्यों की तरफ से अपनी तरफ से पास हुए बिल्डिंग के डिजाइन में बदलाव कराए जा रहे हैं।
(यह आर्टिकल पंजाब सरकार के साथ पार्टनरशिप में तैयार किया गया है। लाइव हिन्दुस्तान इसमें किए गए किसी भी तरह के दावे की पुष्टि नहीं करता है।)
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