- 13 हजार विभिन्न चरणों में हुई शिक्षकों की बहाली
समस्तीपुर में 2024 में शिक्षा विभाग ने कई प्रमुख उपलब्धियाँ हासिल की। शिक्षकों की बड़ी बहाली हुई, तकनीकी पदों पर नियुक्तियाँ हुईं और 1160 स्कूलों में 1773 निर्माण योजनाएँ पूरी हुईं। डीईओ को वित्तीय...
समस्तीपुर, निज संवाददाता। यह साल 2024 जिला शिक्षा विभाग के लिए प्रमुख उपलब्धियों से भरा रहा। शिक्षा विभाग के लिए यह साल तरक्कियों का साल माना जा रहा है। जिले में शिक्षकों व अन्य पदों पर बंपर बहाली हुई। कई नियोजित व स्थानीय निकाय शिक्षकों का भाग्य खुला और वे विशिष्ट शिक्षक बने। कई सहायक शिक्षकों का भी तरक्की का द्वार खुला। वे बीपीएसी परीक्षा पास कर सहायक शिक्षक से हेडमास्टर व प्रधान शिक्षक बन गए। जिले के प्रखंडों में शिक्षा विभाग से आउटसोर्सिंग के जरिये कई तकनीकी पदों पर भी नियुक्ति हुई। 1160 स्कूलों में 1773 निर्माण योजनाएं पूरी की गई। इस साल डीईओ व स्कूल हेडमास्टरों को वित्तीय खर्च का अधिक अधिकार मिला। डीईओ को अपने स्तर से 15 लाख रुपये तक जरूरी काम कराने का पहली बार अधिकार मिला। अधिकांश सरकारी स्कूलों को बेंच - डेस्क की आपूर्ति की गई। डीईओ कार्यालय को विभाग से शिक्षा कार्यालयों व स्कूलों की मररमती व बुनियादी आधारभूत संरचना विकास मद में करोड़ों रुपये मिले। जिले के हर सरकारी स्कूल को छोटे - मोटे जरूरी काम कराने के लिए 50 हजार रुपये दिए गए। सीएजी की ऑडिट टीम ने शिक्षा भवन में पिछले वित्तीय वर्षों के लेखाओं की ऑडिट की। जिसमें कई स्तरों पर अनियमिताएं सामने आई हैं। इस साल दर्जनभर से अधिक प्रारंभिक स्कूलों के हेडमास्टरों पर एमडीएम में घोटाले करने के आरोप में आर्थिक दंड किया गया। उनसे गबन की गई सरकारी राशि की वसूली प्रक्रियाधीन है। सरकारी शिक्षकों की स्कूलों में शिक्षा विभाग से विकसित एप से ऑनलाइन हाजिरी बनाने की शुरुआत हुई। सभी सरकारी स्कूलों में इस साल मासिक, अर्द्धवार्षिक व छमाही परीक्षा की शुरुआत हुई। परीक्षा शिक्षा विभाग से सभी सरकारी व निबंधित निजी स्कूलों में अपार आईडी को विद्यार्थियों के लिए अनिवार्य बनाया गया। इसी साल से डिग्री कॉलेजों में चार वर्षीय स्नातक पाठ्यक्रम की शुरुआत हुई। डिग्री कॉलेजों से इंटर की पढ़ाई भी एसी साल से अलग हुई। मिथिला विवि की टीम कई अंगीभूत कॉलेजों का औचक निरीक्षण किया। शिक्षा डीपीओ, स्थापना कुमार सत्यम ने बताया कि बीपीएसी परीक्षा उतीर्ण फेज 1 में दस हजार, फेज 2 में 2400 व फेज 3 में कुल 4141 स्कूल अध्यापकों की बहाली हुई। वर्ग 1 से 5 में 2046, वर्ग 6 से 8 में 647, वर्ग 9 से 10 में 671, वर्ग 11 से 12 में 777 शिक्षक बहाल हुए। हाउस कीपिंग व आईसीटी लैब के संचालन पर नजर रखने व संचालन में मदद करने के लिए स्कूलों में बने बाल संसद व मीना मंच को अधिकार दिया गया। सरकारी आंकड़े बता रहे हैं कि इस साल सरकारी विद्यालयों में मूलभूत सुविधा उपलब्ध कराने के मकसद से विभिन्न प्रखंडों में शौचालय मरम्मति, शौचालय निर्माण, पीने योग्य पानी की व्यवस्था, किचन शेड, विद्युत मरम्मति तथा विद्यालयों के भवनों में वृहत मरम्मति तथा अतिरिक्त वर्ग कक्ष निर्माण कार्य में 1160 विद्यालयों में 1773 योजनाएं पूर्ण की गई।
उम्मीद
अगले साल 2025 में बाकी फेज में और कई शिक्षकों की बहाली की जाएगी। स्कूलों में आधारभूत संरचनाओं को दुरस्त किया जाएगा। अगले साल से सरकारी स्कूलों में मासिक परीक्षा बंद रहेगी।
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