बंगाल की नकली मिठाई चाव से खा रहे पूर्णिया के लोग
फ़ोटो पूर्णिया, हिन्दुस्तान संवाददाता। दीपावली का त्यौहार आने के कुछ दिन पूर्व से ही देश के अलग-अलग राज्यों से नकली मावा समेत अन्य मिठाई बनाने की...
पूर्णिया, हिन्दुस्तान संवाददाता।
दीपावली का त्यौहार आने के कुछ दिन पूर्व से ही देश के अलग-अलग राज्यों से नकली मावा समेत अन्य मिठाई बनाने की सामग्री स्टॉक करने का काम कुछ मिठाई दुकानदारों के द्वारा शुरू कर दिया गया है। हालांकि खाद्य विभाग के द्वारा भी ऐसे दुकानदारों पर नकेल कसने को लेकर टीम का गठन कर दिया गया है लेकिन अधिकारियों की कमी रहने की वजह से नकली मिठाई बेचने वाले दुकानदारों पर माकूल कार्रवाई नहीं हो पा रही है। बताया जाता है कि एक ही खाद्य संरक्षा अधिकारी के जिम्मे में पूर्णिया, अररिया और किशनगंज जिले का जिम्मेदारी है। इस वजह से कई तरह की तकनीकी परेशानियों का भी सामना करना पड़ता है। तमाम कोशिशों के बावजूद भी पश्चिम बंगाल से आने वाले नकली मिठाई अभी भी पूर्णिया के खुश्कीबाग हाट, भट्ठा बाजार , गिरजा चौक, अम्बेडकर मार्केट डीलक्स होटल के समीप एक जगह पर भारी मात्रा में बंगाल से आने वाली मिठाई का स्टॉक कर इस तरह के नकली मिठाई बेचे जाने का काम किया जा रहा है। सबसे ताज्जुब की बात है कि काफी चकाचौंध वाले दुकानों में भी पीछे के दरवाजे से ऐसे पश्चिम बंगाल की मिठाई को लाकर बेचने का काम किया जाता है। कई ऐसे दुकानदार हैं जो खुद के डेयरी से दूध का निर्माण कर मिठाई बेचने का दंभ भरते हैं लेकिन सच्चाई यह है कि उनके द्वारा भी नकली पश्चिम बंगाल और पाउडर युक्त दूध से बनाए गए मिठाई बेचा जा रहा है।
..... प्रतिदिन खा पाए जा रहे हैं बंगाल के लाखों किलो मिठाई
प्रतिदिन पश्चिम बंगाल के रायगंज समेत अन्य इलाकों से नकली मिठाई काफी गंदे बर्तनों में लाकर जिले के अलग-अलग इलाकों में बेचने का काम किया जाता है । बताया जाता है कि पश्चिम बंगाल की मिठाई काफी सस्ते दामों में दिया जाता है। जिसका फायदा ऐसे दुकानदारों के द्वारा उठाया जाता है। हालांकि इस तरह की तमाम कवायदों को लेकर खाध विभाग के अधिकारियों के द्वारा समय-समय पर जांच के लिए सैंपल भी लिए जाते हैं । लेकिन वह सैंपल सिर्फ कागजों तक ही सीमित रह जाता है। बताया जाता है कि अभी भी कई ऐसे दुकानदार हैं जो प्रतिदिन सिर्फ पश्चिम बंगाल से ही आए हुए मिठाई को बेचते हैं।
.... मिठाई बेचने को लेकर सोशल मीडिया तक का ले रहे हैं सहारा
शहरी क्षेत्र के कई ऐसे दुकानदार हैं जो खुद के डेयरी से दूध का मिठाई बनाने की बात कहते हैं । लेकिन सच्चाई यह है कि उनके द्वारा इस तरह के मामलों को लेकर सिर्फ ग्राहकों को गुमराह किया जा रहा है। अपनी दुकान का प्रचार प्रसार और मिठाई बेचने को लेकर ऐसे दुकानदार सोशल मीडिया तक का भी सहारा ले रहे हैं । काफी तामझाम से दुकानों में मिठाई को लगाकर रखा जाता है। ताकि लोग दिलचस्पी ऐसे मिठाई खाने में ले ।
..... अधिकांश दुकानों में नहीं लिखा रहता है मिठाई के उत्पादन की तिथि
खाध संरक्षा अधिकारियों के द्वारा मिठाई बनाने वाले दुकानदारों को पूर्व में ही कई बार नोटिस थमा चुका है कि वह प्रतिदिन मिठाई बनाने के साथ उनका रेट और उत्पादन की तिथि भी लगा कर रखे । जब इस मामले को लेकर पड़ताल की गई तो अधिकांश मिठाई दुकानों में इस तरह का कोई बोर्ड नजर नहीं आया। भट्टा बाजार में दर्जनों ऐसे मिठाई दुकानदार है जो नाला पर ही दुकान खोल कर रखा हुआ है गंदी दुर्गंध और मक्खियों के बीच ऐसे मिठाई को बेचने का काम किया जाता है। लेकिन खाध विभाग के अधिकारियों की नजर नहीं पड़ रही है।
....नियमित रूप से अभियान चलाकर की जा रही है छापेमारी :
जिला खाद्य संरक्षा अधिकारी जितेंद्र प्रसाद ने बताया कि दीपावली त्यौहार के मद्देनजर नियमित रूप से अभियान चलाकर मिठाई के सैंपल की जांच पड़ताल करने का काम शुरू कर दिया गया है। संसाधन की कमी की वजह से जांच पड़ताल करने में कुछ दिक्कतें भी आ रही है। उन्होंने बताया कि एक- एक दुकान को चिन्हित कर जांच पड़ताल की जा रही है। पूर्णिया अररिया और किशनगंज जिले में एक साथ यह अभियान शुरू कर दिया गया है।
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