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सशक्तीकरण की योजनाओं से जुड़कर महिलाएं बन रही हैं आर्थिक रूप से सम्पन्न

बिहार राज्य महिला सशक्तीकरण नीति 2015 का लाभ नवादा जिले की महिलाओं को मिल रहा है। यह नीति उन्हें आर्थिक समृद्धि, सामाजिक, राजनीतिक और शैक्षिक संसाधनों तक पहुँच प्रदान कर रही है। महिला संवाद कार्यक्रम...

Newswrap हिन्दुस्तान, नवादाMon, 12 May 2025 01:08 PM
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सशक्तीकरण की योजनाओं से जुड़कर महिलाएं बन रही हैं आर्थिक रूप से सम्पन्न

नवादा, हिन्दुस्तान संवाददाता। बिहार राज्य महिला सशक्तीकरण नीति 2015 का लाभ नवादा जिले की महिलाओं को लगातार मिल रहा है। इसका लाभ भी उन्हें आर्थिक समृद्धि से जोड़ भी रहा है। उनके जीवन में खुशहाली दिखने लगी है। उनके चेहरे के संतुष्टि के भाव भी बहुत कुछ कह जा रहे हैं। सशक्तीकरण की योजनाओं से जुड़कर महिलाएं न सिर्फ आर्थिक रूप से संपन्न बन रही हैं बल्कि अन्य महिलाओं के लिए प्रेरणाश्रोत भी बन रही हैं। उल्लेखनीय है कि बिहार राज्य महिला सशक्तीकरण नीति 2015 का मुख्य उद्देश्य महिलाओं की सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक उन्नति करना है। यह नीति उन्हें राष्ट्रीय विकास की मुख्यधारा में लाने और लैंगिक समानता स्थापित करने के लिए सरकार का एक ऐतिहासिक कदम है।

बिहार सरकार ने 22 मार्च, 2015 को बिहार दिवस के अवसर पर इस नीति को अपनाया था और तब से समस्त बिहार की महिलाओं के साथ ही नवादा जिले की महिलाओं को भी इसका सीधा लाभ मिल रहा है। लैंगिक समानता स्थापित करना है लक्ष्य, मिल रही कामयाबी मुख्यत: सरकार की मंशा थी कि समाज में लैंगिक समानता स्थापित की जाए। सरकार और प्रशासनिक तत्परता के कारण न सिर्फ यह लक्ष्य पाना आसान हो कर रह गया है बल्कि अब तो बड़ी कामयाबी भी दिखने लगी है। लैंगिक समानता स्थापित करने के अलावा महिलाओं को संसाधनों तक पहुंच प्रदान करना और उन्हें अनुकूल वातावरण प्रदान करना भी एक लक्ष्य था, जो महिलाओं को सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक, शैक्षिक और स्वास्थ्य संबंधी संसाधनों तक पहुंच सुनिश्चित करने में भी सफल साबित हुआ है। महिला संवाद कार्यक्रम से प्रगति को मिल ही और भी तेज गति महिला सशक्तीकरण को लेकर जारी महिला संवाद कार्यक्रम से महिलाओं की प्रगति को और भी तेज गति मिल रही है। जिले में जारी महिला संवाद कार्यक्रम में जिस बड़ी संख्या में महिलाएं भाग ले रही हैं और खुलकर अपनी समस्याएं तथा सुझाव रख रही हैं, वह स्वत:स्फूर्त और सुखद है। शनिवार तक संवाद कार्यक्रम के 23वें दिन दोनों पालियों में कुल 4532 महिलाओं की भागीदारी रही। उल्लेखनीय है कि यह कार्यक्रम 18 अप्रैल से जिले में प्रतिदिन संचालित है, जिस क्रम में जिले के 26 स्थानों पर प्रतिदिन दो पालियों में संवाद आयोजित किए जाने के दरम्यान लगभग एक लाख महिलाओं ने अपनी उपस्थिति अब तक दर्ज करायी है। यह उपस्थिति सुकूनदायक है। इतनी बड़ी संख्या में महिलाएं 13 संवाद रथों के माध्यम से जागरूक बन रही हैं। जिले के 578 ग्राम संगठनों में महिला संवाद कार्यक्रम को लेकर तत्परता देखी गयी है। सबसे अच्छी बात तो यह रही है कि संवाद कार्यक्रम के दौरान कुल 13,963 आकांक्षाओं को मोबाइल एप के माध्यम से महिलाओं ने दर्ज कराया है। सहज ही समझा जा सकता है कि महिलाएं ऊंची उड़ान के लिए अपने पर तोल चुकी हैं। ऐसे में अब तरक्की की ऊंचाई छूने से कोई नहीं रोक सकता। ------------------------- बिहार राज्य महिला सशक्तीकरण नीति का उठा रहीं लाभ, बन रहीं सशक्त नवादा। बिहार राज्य महिला सशक्तीकरण नीति का लाभ उठा कर सशक्त बन रहीं महिलाएं संवाद कार्यक्रम में अपनी सफलता की कहानी सुना को दूसरों को प्रेरित करती हैं, तब उनके चेहरे की खुशी बहुत कुछ बयां कर जाती हैं। इस नीति के तहत जीविका कार्यक्रम के माध्यम से महिलाओं को वित्तीय सहायता और सूक्ष्म ऋण प्रदान करके उनके आर्थिक रूप से सशक्त होने में मदद की जाती है, जबकि इसके अलावा पंचायती राज व्यवस्था के तहत पंचायतों में महिलाओं के लिए आरक्षण के प्रावधान से उन्हें स्थानीय शासन में सक्रिय भूमिका निभाने में मदद की जा रही है। रोजगार की उपलब्धता के क्रम में राज्य सरकार ने सभी सरकारी नौकरियों में महिलाओं के लिए 35 प्रतिशत आरक्षण की नीति लागू कर लाभ पहुंचाया है जबकि अन्य योजनाओं के तहत राज्य सरकार ने महिला पुलिस बटालियन की स्थापना, पुलिस उपनिरीक्षकों और आरक्षकों की नियुक्ति में महिलाओं को 35 प्रतिशत आरक्षण और जीविका के तहत स्वयं सहायता समूहों के गठन से महिलाओं में आत्मविश्वास और आत्मनिर्भरता बढ़ाने के लिए भी समुचित व्यवस्था की गयी है। इन प्रयासों से बिहार की महिलाओं की स्थिति में बदलाव आया है और वे अब विभिन्न क्षेत्रों में सक्रिय रूप से भाग ले रही हैं।

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