मोहजामा में दूसरे दिन छाया रहा सन्नाटा
मोहजामा गांव में एक दुखद घटना में राजू और सूरज की गोली मारकर हत्या कर दी गई। ग्रामीणों का कहना है कि सूरज अगर राजू को नहीं ले जाता तो उसकी जान बच सकती थी। घटना के बाद दोनों के शव का पोस्टमार्टम हुआ और...
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पारू, हिन्दुस्तान संवाददाता। मोहजामा गांव में दूसरे दिन रविवार को सन्नाटा छाया रहा। ग्रामीणों ने बताया कि सूरज को राजू अपने साथ नहीं ले जाता तो उसकी जान बच जाती। घटनास्थल के पास नशीला पदार्थ सेवन करने के बाद राजू को जब गोली मारी गई तो सूरज भय से भागने लगा, जिसे खदेड़कर बदमाशों ने गोली मार दी। उधर, शनिवार की रात पोस्टमार्टम से दोनों का शव पहुंचते ही परिजनों में चीख-पुकार मच गई। वहीं, सूरज के माता-पिता रविवार को दिल्ली से गांव पहुंचे। उसके बाद वैशाली नहर के पास श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार किया गया। राजू को उसके भाई सुबोध दास और सूरज को उसके भाई रिशु ने मुखाग्नि दी।
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