लॉकडाउन में दूध की मांग में आई गिरावट
कोरोना संक्रमण को लेकर लगाए गये लॉकडाउन के कारण दूध की बिक्री में भारी कमी आई है। उत्पादन और आपूर्ति की समस्या नहीं होने के बावजूद सुधा डेयरी की दूध की बिक्री में गिरावट आई...
कोरोना संक्रमण को लेकर लगाए गये लॉकडाउन के कारण दूध की बिक्री में भारी कमी आई है। उत्पादन और आपूर्ति की समस्या नहीं होने के बावजूद सुधा डेयरी की दूध की बिक्री में गिरावट आई है।
जिले में प्रतिदिन लगभग एक हजार लीटर की बिक्री घट गयी है। जबकि पहले चार से साढ़े चार हजार लीटर की बिक्री रोज होती थी।
मांग की कमी से आई गिरावट: लॉकडाउन में दूध की मांग कम होने से बिक्री में गिरावट आई है। होटल, मिठाई, चाय की दुकानें बंद रहने, शहर में रहकर पढ़ाई करने वाले छात्रों के घर चले जाने और किसी तरह के समारोह पर रोक को लेकर दूध की खपत कम हो गई है। सुधा दूध के स्थानीय डिस्ट्रीब्यूटर संतोष मिश्रा बताते हैं कि पहले लगभग 4 हजार से साढ़े 4 हजार लीटर दूध रोज की खपत थी। लेकिन कोरोना संक्रमण को लेकर बाजार में डिमांड कम हो गई। पहले सावन की सोमवारी में भी दूध की अधिक डिमांड होती थी। लेकिन इसबार पहले की तरह डिमांड नहीं है। लॉकडाउन के कारण लगन और पर्व-त्योहार में भी इसबार दूध का डिमांड नहीं रहा। उन्होंने बताया कि दूध कमी नहीं है। गाड़िया दूध लेकर रोज आ रही है। डिमांड होने पर दूध की आपूर्ति में कोई समस्या नहीं है।
पहले की तरह दूध लेने आ रहीं गाड़ियां: लॉकडाउन में पहले की तरह दूध संग्रह करने के लिए गाड़ियां गांव-गांव जा रही है। महिला दुग्ध सहकारी समिति महगामा के संचालक मिथिलेश कुमार बताते हैं कि सुबह और शाम दूध लेने गाड़ियां आ रही है।
महिला दुग्ध सहकारी समिति बंगलवा के संचालक सिकन्दर यादव ने बताया कि दूध गाड़ी रोज आ रही है। किसान अभी खेती में लगे हैं।
दूध कम दे रहे हैं। भुगतान में अभी लगभग तीन महीने का समय लग रहा है। लॉकडाउन में छोटे किसान आर्थिक तंगी में रहने के कारण गांव में दूध नगद बेच रहे हैं। उन्होंने बताया कि 100 की जगह अभी 25 लीटर दूध संग्रह हो पा रहा है।
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