Hindi Newsबिहार न्यूज़Lalu Yadav provokes Nitish Kumar to snatch rights of Bihar from Delhi instead of pleading

लालू यादव ने नीतीश कुमार को उकसाया; बोले- दिल्ली से हक छीनना पड़ता है, गिड़गिड़ाने से नहीं होगा

  • राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने बिहार के सीएम और जनता दल यूनाइटेड के अध्यक्ष नीतीश कुमार से कहा है कि दिल्ली से हक मांगने से नहीं मिलता है, बल्कि उसे छीनना पड़ता है।

Ritesh Verma लाइव हिन्दुस्तान, पटनाWed, 14 Aug 2024 11:22 AM
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बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव ने सीएम और जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) के अध्यक्ष नीतीश कुमार को भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की अगुवाई में चल रही केंद्र सरकार के खिलाफ उकसाते हुए कहा है कि दिल्ली में हक मांगना नहीं छीनना पड़ता है। लालू यादव ने अपने रेलमंत्री कार्यकाल के दौरान छपरा के दरियापुर में बने बेला रेल पहिया कारखाना का हवाला देते हुए नीतीश कुमार से पूछा है कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) सरकार के 10 वर्षों में बिहार को घोषणाओं के अलावा क्या मिला है। लालू ने कहा है कि 2014 से 2024 तक 31, 39 और 30 सांसद लेकर भी दिल्ली के सामने गिड़गिड़ाने से इनको कुछ नहीं मिलता है।

लालू ने सोशल साइट एक्स पर ट्वीट में कहा- “नीतीश बताएं, NDA के 10 वर्षों में बिहार को कोरी घोषणाओं के अलावा क्या मिला? हमने तो 22 सांसदों के दम पर 2004 से 2009 के बीच 5 वर्ष में ही बिहार को 1 लाख 44 हज़ार करोड़ की सहायता राशि दिलाई। लेकिन ये तो 2014 में 31, 2019 में 39 और 2024 में 30 सांसद लेकर भी दिल्ली के सामने हाथ जोड़, गिड़गिड़ा कर झोली फैलाते हैं, लेकिन तब भी इन्हें कुछ नहीं मिलता। राजधानी में हक मांगना नहीं छीनना पड़ता है।”

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लालू यादव ने एक लंबे पोस्ट में लिखा है- “UPA-1 में दूसरी सबसे बड़ी पार्टी होने के बल पर हमने 2004 से 2009 के बीच प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और सोनिया गांधी के सहयोग से विकास कार्यों के लिए बिहार को 1 लाख 44 करोड़ की विशेष आर्थिक सहायता राशि आवंटित ही नहीं बल्कि दिलाई थी। UPA-1 में केंद्र से मिले सहयोग के कारण बिहार में ग्रामीण सड़कें, पुल-पुलिया, बिजली, रेलवे लाइनें, मनरेगा के तहत रोजगार, रेलवे स्टेशन, तथा सारण और मधेपुरा में रेल कारखानों का जाल बिछा दिया था। हमारे द्वारा UPA काल में दिए गए सहयोग राशि से नीतीश कुमार ने अपना चेहरा खूब चमकाया। चूंकि हम प्रचार नहीं बल्कि जमीनी काम करते थे।”

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आरजेडी सुप्रीमो ने बेला रेल पहिया कारखाना की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए कहा है कि अब तक यहां रिकॉर्ड 2 लाख से अधिक पहियों का उत्पादन हो चुका है। उन्होंने कहा कि अब मेड इन बिहार रेल पहिये देश के विकास में अहम योगदान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह भारतीय रेलवे के इतिहास में पहली बार था कि बिना किसी विदेशी सहयोग के एक अत्यधिक परिष्कृत कारखाना देश में स्थापित हुआ था। यह रेलवे की इन-हाउस क्षमता और विशेषज्ञता के कारण संभव हुआ।

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