भाई मैं जा रहा हूं.., कर्नाटक से लापता ITBP जवान ने सुसाइड नोट में क्या लिखा; पिता बोले- कोई ब्लैकमेल कर रहा था
इंद्र कुमार राम का कहना है कि उनके बेटे को रुपये के लिए कोई ब्लैकमेल कर रहा था। इसके लिए वह उनसे और अन्य रिश्तेदारों से रुपये की मांग रहा था। इधर, थानाध्यक्ष राजीव रंजन सिन्हा के अनुसार जवान बेंगलुरु के बेलगाम स्थित अपने ट्रेनिंग सेंटर से 13 नवंबर से बिना किसी सूचना के ही ड्यूटी से गायब था।ल
कर्नाटक से लापता ITBP के एक जवान का शव बिहार में मिला है। भोजपुर जिले के आरा में शहर से सटे मुफस्सिल थाना क्षेत्र के गंगहर गांव में रविवार की सुबह आईटीबीपी के एक जवान का शव पेड़ से लटका मिला। उसका शव गांव के बधार में बबुल के एक पेड़ से प्लास्टिक की रस्सी के सहारे लटका था। मृत जवान गंगहर गांव निवासी इंद्र कुमार राम का 25 वर्षीय पुत्र गौतम कुमार था। वह कर्नाटक के बेलगाम में पोस्टेड था और ट्रेनिंग सेंटर से पिछले 13 नवंबर से लापता था। उसका मोबाइल गायब है। खुदकुशी का कारण फिलहाल स्पष्ट नहीं हो सका है। हालांकि परिजनों की ओर से किसी के ब्लैकमेल से परेशान होकर खुदकुशी करने की आशंका जताई जा रही है।
वहीं, जवान के पॉकेट से एक सुसाइड नोट मिला है। उसमें जवान की ओर से अपनी मर्जी से आत्महत्या करने की बात लिखी गई है। किसी का दबाव नहीं होने की बात भी लिखी गई है। इधर, रविवार की सुबह अचानक जवान का शव मिलने से पूरे गांव में सनसनी मच गई। सूचना मिलने पर पुलिस पहुंची और शव का पोस्टमार्टम कराया गया। पुलिस मामले की छानबीन कर रही है। मोबाइल की सीडीआर का विश्लेषण कर रही है। वैज्ञानिक और तकनीकी जांच की भी मदद ली जा रही है।
रस्सी और सुसाइड नोट को जांच के लिए जब्त कर लिया गया है। इंद्र कुमार राम का कहना है कि उनके बेटे को रुपये के लिए कोई ब्लैकमेल कर रहा था। इसके लिए वह उनसे और अन्य रिश्तेदारों से रुपये की मांग रहा था। इधर, थानाध्यक्ष राजीव रंजन सिन्हा के अनुसार जवान बेंगलुरु के बेलगाम स्थित अपने ट्रेनिंग सेंटर से 13 नवंबर से बिना किसी सूचना के ही ड्यूटी से गायब था। इसे लेकर आईटीबीपी विभाग के अधिकारियों की ओर से वहां के स्थानीय थाने में उसके लापता होने का आवेदन भी दिया गया था। जवान बेंगलुरु ट्रेनिंग सेंटर से गांव कब और कैसे आया और खुदकुशी की जांच की जा रही है।
भाई मैं जा रहा हूं...माता-पिता का ख्याल रखना...
जवान गौतम कुमार के पॉकेट से एक सुसाइड नोट मिला है। इसमें लिखा है कि मैं गौतम कुमार अपने होशो हवास में यह लिख रहा हूं कि मैं आत्महत्या अपनी मर्जी से करने जा रहा हूं। किसी के दबाव में आकर नहीं कर रहा हूं। मेरे माता-पिता व भाई से पुलिस सवाल पूछ कर परेशान न करे, इसकी मैं गुजारिश करता हूं। इसके अलावा नोट में लिखा गया है कि भाई मैं जा रहा हूं दुनिया छोड़कर। आप दोनों अपने माता-पिता का ख्याल रखना भाई। हालांकि पुलिस सुसाइड नोट की गहनता से जांच कर रही है।
तीन भाइयों में मांझिल था गौतम
बताया जा रहा है कि गौतम कुमार का पिछले वर्ष आईटीबीपी जवान के पद के लिए चयन हुआ था। ज्वॉइन करने के बाद उसने एक साल की ट्रेंनिंग चेन्नई के मदुरई में पूरी की। इसके बाद दुर्गापूजा में वह गांव आया था। इसके बाद वह वापस मदुरई लौटा, तो एक माह की स्पेशल ट्रेनिंग के लिए उसे कर्नाटक के बेलगाम भेजा गया था। गौतम तीन भाइयों में दूसरे स्थान पर था। उसके परिवार में मां उर्मिला देवी, भाई रंजीत कुमार राम और बजरंगी कुमार राम है। घटना के बाद जवान के घर में कोहराम मच गया है। जवान बेटे के वियोग मां उर्मिला देवी सहित परिवार के सभी सदस्यों का रो-रोकर बुरा है।