हीट स्ट्रोक को लेकर अलर्ट मोड में रहे डॉक्टर व अन्य कर्मी :डीएम
हीट स्ट्रोक को लेकर अलर्ट मोड में रहे डॉक्टर व अन्य कर्मी :डीएमहीट स्ट्रोक को लेकर अलर्ट मोड में रहे डॉक्टर व अन्य कर्मी :डीएमहीट स्ट्रोक को लेकर अलर्

जिले में लगभग 14 दिनों तक मौसम नम रहने के बाद फिर गर्मी बढ़ने लगी है। ऐसे में हीट स्ट्रोक और चमकी बुखार के मरीज आते हैं। इससे निपटने के लिए मगध मेडिकल अस्पताल में क्या तैयारी है इसका शनिवार को जायजा डीएम ने लिया। इस दौरान डीएम डॉ. त्यागराजन एसएम ने डॉक्टर, नर्स व अन्य कर्मी को अलर्ट मोड में रहने का निर्देश दिया। स्वास्थ्य पदाधिकारियों के साथ हीट स्ट्रोक व चमकी बुखार के इलाज से संबंधित तैयारियों की समीक्षा की। इस दौरान जरूरी दवा की उपलब्धता, वार्ड में पर्याप्त बेड की उपलब्धता व मरीजों के आवागमन के लिए एसी एंबुलेंस सुनिश्चित करने सहित दवाइयों के रखरखाव आदि की जांच की।
इस मौके पर अस्पताल अधीक्षक डॉ. केके सिन्हा, सिविल सर्जन डॉ. राजाराम प्रसाद, अपर समाहर्ता आपदा प्रबंधन, डीपीएम नीलेश कुमार और दोनों वार्ड के नोडल पर्सन तथा अन्य स्वास्थ्य पदाधिकारी मौजूद रहे। चार सौ आइस पैक और 44 प्रकार की दवाएं उपलब्ध निरीक्षण के दौरान डीएम को मेडिकल अधीक्षक डॉ. केके सिन्हा ने बताया कि हीट स्ट्रोक के मरीजों के लिए प्री फैबरिकेटेड वार्ड में एक सौ बेड सुरक्षित रखे गए हैं। जापानी बुखार के लिए 20 बेड का वार्ड बनाया गया है। हीट स्ट्रोक के मरीजों को इमरजेंसी से वाड्र में लाने के लिए एक एसी एंबुलेंस सुरक्षित रखी गयी है। जरूरत पड़ने पर इसकी संख्या बढ़ायी जा सकती है। इसके लिए स्वास्थ्य अधिकारियों की ट्रेनिंग भी हो चुकी है। पर्याप्त संख्या में डॉक्टर को ड्यूटी पर लगाया गया है। चार सौ आइस पैक की व्यवस्था है। 44 तरह की आवश्यक दवा उपलब्ध है। बताया कि प्रत्येक मरीज के साथ उनके एक परिजन के रहने की भी व्यवस्था की गयी है। सिविल सर्जन डॉ. राजाराम ने बताया कि सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारियों को हीट स्ट्रोक व जापानी बुखार के मामले में सभी जरूरी तैयारियां रखने का निर्देश दिया गया है। सभी बेड तक ऑक्सीजन आपूर्ति सुचारू रखें मेडिकल अधीक्षक ने कहा कि सभी वार्डों में बेड तक ऑक्सीजन की आपूर्ति सुचारु रखें, बीमारी से जुड़ी दवाइयों और अन्य आवश्यक जरूरतों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये गये हैं। एबुलेंस में जरूरी सामान जैसी दवा व ऑक्सीजन हमेशा उपलब्ध रखने और एंबुलेंस के स्वास्थ्यकर्मियों को प्राथमिक इलाज के बारे में प्रशिक्षण समय-समय पर मुहैया कराने का निर्देश है। स्वास्थ्यकर्मियों को जापानी बुखार के मामले में सामुदायिक स्तर पर भी जागरूक करते हुए प्राथमिक इलाज व बचाव संबंधी जानकारी आशा व प्रखंड स्तरीय चिकित्सा पदाधिकारियों के माध्यम से दी जाए। चमकी बुखार के मामले की जानकारी और त्वरित कार्रवाई के लिए कंट्रोल रूम बनाने का निर्देश दिया गया है। हीट स्ट्रोक सहित जापानी बुखार से होने वाली मौत का सत्यापन कराने के लिए भी कहा गया है।
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