नौकरी दिलाने के नाम पर चार से छह लाख रुपये ली गई राशि
बक्सर में एसजेवीएन में नौकरी दिलाने के नाम पर चार हजार अभ्यर्थियों के साथ ठगी का मामला सामने आया है। डुमरांव विधायक डॉ. अजीत कुशवाहा ने डीएम को बताया कि फर्जी दस्तावेजों के जरिए लाखों रुपये की ठगी की...
पेज तीन की लीड ---------- गड़बड़झाला पीड़ितों ने प्रस्तुत किये गए दस्तावेजों में एसजेवीएन के फर्जी सर्विस बुक, सर्विस कार्ड, परिचय पत्र, ज्वाइनिंग लेटर, एग्रीमेंट पेपर इत्यादि सौंपा डुमरांव विधायक ने पीड़ित अभ्यर्थियों का डीएम के समक्ष रखा पक्ष फर्जीवाड़े के शिकार अभ्यर्थियों का प्रतिनिधिमंडल डीएम से मिला 04 हजार अभ्यर्थियों के साथ ठगी का मामला उजागर हुआ फोटो संख्या- 08, कैप्सन- शुक्रवार को कलेक्ट्रेट में ठगी के शिकार युवकों के साथ डुमरांव विधायक डॉ.अजीत कुशवाहा। बक्सर, हमारे संवाददाता। एसजेवीएन में नौकरी दिलाने के नाम पर करीब चार हजार अभ्यर्थियों के साथ ठगी का मामला उजागर हुआ है। पीड़ित अभ्यर्थियों ने करोड़ों रुपये की ठगी की व्यथा डुमरांव विधायक डॉ अजीत कुशवाहा के समक्ष कहीं थी। इस बात को गंभीरता से लेते हुए फर्जीवाड़ा से शिकार अभ्यर्थियों के प्रतिनिधिमंडल के साथ विधायक ने डीएम अंशुल अग्रवाल को अवगत कराया। विधायक ने डीएम को बताया कि हजारों लड़कों से अवैध रूप से पैसे की वसूली की गयी है। पीड़ितों ने प्रस्तुत किये गए दस्तावेजों में एसजेवीएन के फर्जी सर्विस बुक, सर्विस कार्ड, परिचय पत्र, ज्वाइनिंग लेटर, एग्रीमेंट पेपर इत्यादि सौंपा। हजारों बेरोजगार नौजवानों व छात्रों का भविष्य के साथ-साथ उनके माता-पिता की जीवनभर की जमापूंजी को ठग लिया गया है। पीड़ितों ने बताया कि इस ठगी में रंजन कुमार, पिता- सिद्धेश्वर यादव, निवासी ग्राम- तेतरहाड़ व अजय कुमार, पिता- स्व सूरज सिंह, ग्राम- हरोजा, थाना- सिकरौल लख शामिल हैं। विधायक ने डीएम से आग्रह किया कि इस मामले को गंभीरता से लिया जाए। इसमें दोषी व्यक्तियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। साथ ही पैसे की वसूली कर पीड़ित अभ्यर्थियों को वापस लिया जाए। इसमें किसी तरह की लापरवाही नहीं होनी चाहिए। मेरिट लिस्ट में लाने के नाम पर दो लाख लिए गए डुमरांव विधायक डॉ अजीत कुशवाहा के साथ आए मनोज अभ्यर्थी ने बताया कि फर्जीवाड़ा करने वाले दोनों ने संपर्क किया। इसके बाद एसजेवीएन में नौकरी दिलाने के आश्वासन दिया। इसके लिए फार्म भरवाया गया। परीक्षा में मेरिट लिस्ट में लाने के नाम पर दो लाख रुपए लिए गए। इसके बाद मेरिट लिस्ट दिखाई गई। इसके बाद मेडिकल कराने के लिए शिमला भेजा गया। मेडिकल के दौरान सभी प्रक्रिया पूरी की गई। पुन: फाइनल लिस्ट में नाम लाने के लिए पैसा लिया गया। इसके बाद ज्वाइंनिंग लेटर भी दिया गया। परंतु अंत में जानकारी मिली कि सभी प्रक्रिया पूरी तरह से फर्जी थी। फर्जीवाड़ा करने वाले दोनों लोग भाग निकले। खोजने पर उनलोगों का कहीं पता नहीं चल रहा है। बेरोजगारों ने छह प्रतिशत सूद पर पैसा लिया विधायक डॉ अजीत कुशवाहा के साथ आए अभ्यर्थियों ने बताया कि चार से लेकर छह लाख रुपये तक लिए गए है। इनलोगों ने छह प्रतिशत सूद पर पैसा लेकर दिया है। किसी तरह से सूद का पैसा चुकता कर रहे है। अभिभावक भी टूटने लगे है। आखिर इतनी बड़ी राशि कैसे आएगी। वहीं इस संबंध में डुमरांव विधायक डॉ अजीत सिंह ने कहा कि फर्जीवाड़ा करने वाले दोनों को खोजने व उनसे पैसा रिकभरी का पूरा प्रयास किया जा रहा है। ताकि इन अभ्यर्थियों को राहत मिले। इसके लिए वह पूरा प्रयास करेंगे।
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