नालन्दा राजकीय कन्या प्लस-टू स्कूल में सूबे की पहली रोबोटिक्स लैब होगी स्थापित
नालन्दा राजकीय कन्या प्लस-टू स्कूल में सूबे की पहली रोबोटिक्स लैब होगी स्थापितनालन्दा राजकीय कन्या प्लस-टू स्कूल में सूबे की पहली रोबोटिक्स लैब होगी स्थापितनालन्दा राजकीय कन्या प्लस-टू स्कूल में सूबे...
हिन्दुस्तान एक्सक्लूसिव : नालन्दा राजकीय कन्या प्लस-टू स्कूल में सूबे की पहली रोबोटिक्स लैब होगी स्थापित रोबोटिक्स लैब के सफल संचालन के लिए दो शिक्षकों व 30 छात्राओं को किया जा रहा प्रशिक्षित रोबोटिक्स इंजीनियर छात्राओं को दे रहे ट्रेनिंग ट्रेंड छात्राएं व शिक्षक स्कूल की अन्य छात्राओं को करेंगे प्रशिक्षित फोटो : कन्या स्कूल : राजगीर अम्बेडकर स्कूल कैंपस में शुक्रवार को रोबोटिक्स लैब में प्रशिक्षण लेतीं छात्राएं व अन्य। बिहारशरीफ/राजगीर, हिन्दुस्तान संवाददाता/अभिषेक कुमार। राजगीर के साथ ही सूबे के सभी जिलों में राजकीय अन्य पिछड़ा वर्ग कन्या आवासीय स्कूल स्थापित हैं। राजगीर के इस स्कूल में रोबोटिक्स लैब स्थापित की जाएगी। यह सूबे के किसी भी राजकीय अन्य पिछड़ा वर्ग आवासीय स्कूल में पहली लैब की स्थापना की जा रही है। हालांकि, राजगीर के ही आम्बेडकर आवासीय बालिका स्कूल में यह लैब पहले से स्थापित है। प्राचार्य डॉ. राजीव रंजन ने बताया कि शुक्रवार से रोबोटिक्स लैब की स्थापना के पहले शुक्रवार से संबंधित शिक्षकों व 30 छात्राओं को सात दिवसीय प्रशिक्षण की शुरुआत की गई है। दिल्ली से आयी चार सदस्यीय रोबोटिक्स इंजीनियर की टीम द्वारा स्कूल के दो शिक्षकों व 30 छात्राओं को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। प्रशिक्षण प्राप्त छात्राएं व शिक्षक स्कूल की अन्य छात्राओं को रोबोटिक्स लैब में प्रशिक्षित करेंगे। सीनियर इंजीनियर रितिक श्रीवास्तव ने बताया कि वर्तमान परिवेश में विज्ञान व तकनीकी शिक्षा से जुड़े विषयों के बारे में जानकारी दी जा रही है। ताकि, छात्राओं को सिलेवस के साथ रोबोटिक्स लैब के माध्यम से तकनीकी शिक्षा दी जा सके। इससे छात्राओं को बारहवीं परीक्षा उत्तीर्ण होने के बाद कॅरियर चुनने में आसानी होगी। विज्ञान के क्षेत्र में बचपन से रुचि होने से मेडिकल, इंजीनियरिंग व अन्य क्षेत्रों में आसानी से सफलता हासिल करने में रोबोटिक्स लैब मील का पत्थर साबित होगी। प्रशिक्षण में छात्राओं को सैद्धांतिक ज्ञान के बाद लैब के माध्यम से वैज्ञानिक मॉडल बनाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। कई छात्राओं ने वैज्ञानिक मॉडल भी विकसित किए हैं। क्या है रोबोटिक्स लैब : रोबोटिक्स के सीनियर इंजीनियर आशीष गुप्ता व शुभम गुप्ता ने बताया कि ‘स्टेम (साइंस टेक्नोलॉजी इंजीनियरिंग एंड मैथेमेटिक्स) योजना के तहत बच्चों को विज्ञान व तकनीकी शिक्षा से जुड़े विषयों की जानकारी प्राप्त की जा सकती है। मुख्य रूप से सेंसर के प्रकार, कंट्रोलर, एआई (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस), मशीन लर्निंग, थ्री-डी प्रिंटर व अन्य के बारे में जानकारी दी जानी है। क्रिटिकल थिंकिंग, तकनीकी समस्या का समाधान, सोचने की क्षमता, भविष्य में अपनी कॅरियर चुनने व अन्य लाभ छात्राओं को मिल सकेगा। लैब की व्यवस्था : प्राचार्य ने बताया कि रोबोटिक्स लैब को तीन कंप्यूटर/ लैपटॉप, थ्रीडी प्रिंटर, एआई किट, मेकाट्रॉन ( मैथमेटिकल और इलेक्ट्रिकल किट को मिला कर बनाए गए यंत्र), थ्रीडी पेन, प्रोजेक्टर व अन्य वैज्ञानिक यंत्र व उपस्करों से सुसज्जित किया है। ये हो रहे है प्रशिक्षित : कनीय अभियंता शुभम गुप्ता ने बताया कि विज्ञान शिक्षिका अंजली कुमार व राजीव कुमार को रोबोटिक्स लैब का सफल संचालन केलिए प्रशिक्षित किया जा रहा है। साथ ही, छात्राएं स्नेहा कुमारी, अंशु, लक्ष्मी, सबनम, मोना, प्रतिज्ञा, शिवानी, सुहानी, राधिका, संजनी, स्वीटी, पल्लवी, ऋचा, बिहू, चांदनी, ममता, तान्या, रिया, सीता, सुमन, निशा,ज्योति, मीरा व अन्य छात्राओं को प्रशिक्षित किया जा रहा है।
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