इंडो-नेपाल रिश्तों को मजबूती देगा ‘वाल्मीकि महोत्सव
बगहा में 8 मार्च को प्रस्तावित वाल्मीकि महोत्सव से भारत और नेपाल के रिश्ते मजबूत होंगे। यह महोत्सव स्थानीय कलाकारों की भागीदारी के साथ होगा और नेपाल से आने वाले पर्यटकों को वाल्मीकि टाइगर रिजर्व की...
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बगहा। ‘वाल्मीकि महोत्सव भारत व नेपाल के बीच के रिश्तों को और प्रगाढ़ करेगा। साथ ही इससे बेटी-रोटी के रिश्तों को मजबूती मिलेगी। जिले में वाल्मीकि महोत्सव आठ मार्च को प्रस्तावित है, जिसके लिए प्रशासनिक स्तर पर कवायद शुरू कर दी गई है। सबकुछ ठीक रहा तो मार्च के पहले पखवारे में वाल्मीकि महोत्सव का आयोजन हो सकता है। जिले के कला एवं संस्कृति शाखा के पत्र में वाल्मीकि महोत्सव के लिए टेंडर की प्रक्रिया शुरू करने की जानकारी दी गयी है। पत्र में वाल्मीकि महोत्सव में राज्यस्तरीय कलाकारों के आने की भी संभावना जताई गई है। स्थानीय जानकार लोगों की माने तो वाल्मीकि महोत्सव से नेपानी टूरिस्टों को वाल्मीकि टाइगर रिजर्व में आने के लिए प्रेरित किया जाएगा। फिलहाल नेपाल से पर्यटक सीधे वाल्मीकि आश्रम झूला पुल के माध्यम से आते हैं और दर्शन कर लौट जाते हैं। लेकिन वाल्मीकि महोत्सव उनके बीच यह संदेश देने देगा कि वीटीआर व आसपास का क्षेत्र में भी धार्मिक दृष्टिकोण से मुफीद है। वर्ष 2014 में कला एवं संस्कृति मंत्रालय की पहल पर वाल्मीकिनगर में वाल्मीकि महोत्सव हुआ था। तत्कालीन कला एवं संस्कृति मंत्री ने इस महोत्सव के राजकीय महोत्सव के रूप में मनाने की घोषणा भी की। 2015 में महोत्सव नहीं हुआ। कुछ प्रबुद्धजनों व जनप्रतिनिधियों की पहल पर 2016 में इसका पुन: आयोजन किया गया। इसके बाद वाल्मीकि महोत्सव नहीं हुआ है। स्थानीय रामअवध प्रताप सिंह, राघवेन्द्र प्रसाद, मोहन प्रसाद, डी. आनंद आदि ने बताया कि महर्षि वाल्मीकि को लोग भूल गये हैं। ऐसे में अगर वाल्मीकि महोत्सव होता है तो इसे एक नई पहचान मिलेगी।
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