Makar Sankranti Date 2024 : 14 या 15 जनवरी, कब है मकर संक्रांति? ज्योतिषाचार्य से जानें सही डेट, पूजा-विधि
Sankranti : हिंदू धर्म में मकर संक्रांति का विशेष महत्व है। शास्त्रों के अनुसार, भगवान सूर्य बारह राशियों के भ्रमण के दौरान जब मकर राशि में प्रवेश करते हैं तो मकर संक्रांति का त्योहार मनाया जाता है।
Makar Sankranti 2024 : इस बार भी मकर संक्रांति 15 जनवरी सोमवार को मनाया जाएगा। सूर्य का मकर राशि में प्रवेश करने पर ही मकर संक्रांति पर्व मनाया जाता है। इसी दिन सूर्य उत्तरायण हो जाते हैं। ज्योतिषाचार्य मनोज कुमार मिश्र ने बताया कि वर्ष 2022 व 2023 में भी 15 जनवरी को मकर संक्रांति पर्व मनाया गया था। इस बार व्यतिपात योग शुक्ल पक्ष चतुर्थी तिथि शतभिषा नक्षत्र में सोमवार को मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाएगा। मिथिला पंचांग के अनुसार सुबह 8:30 में एवं काशी पंचांग के अनुसार प्रातः काल 8:42 मिनट पर सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करेंगे।
शुभ मुहूर्त-
- मकर संक्रान्ति पुण्य काल - 07:15 ए एम से 05:46 पी एम
- अवधि - 10 घण्टे 31 मिनट्स
- मकर संक्रान्ति महा पुण्य काल - 07:15 ए एम से 09:00 ए एमॉ
- अवधि - 01 घण्टा 45 मिनट्स
- मकर संक्रान्ति का क्षण - 02:54 ए एम
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मकर संक्रांति पूजा विधि- मकर संक्रांति के दिन भगवान सूर्य उत्तरायण होते हैं। इसी के साथ देवताओं के दिन शुरू होने से मांगलिक कार्य आरंभ हो जाते हैं। सूर्य देव को मकर संक्रांति के दिन अर्घ्य के दौरान जल, लाल पुष्प, फूल, वस्त्र, गेंहू, अक्षत, सुपारी आदि अर्पित की जाती है। पूजा के बाद लोग गरीबों या जरुरतमंद को दान देते हैं। मकर संक्रांति के दिन खिचड़ी का विशेष महत्व होता है।
मकर संक्रांति के अगले दिन से शुरू होंगे शुभ कार्य
- खरमास लगने की वजह से मकर सक्रांति के अगले दिन तक शुभ कार्य और वैवाहिक समारोह हो पाएंगे। 16 दिसंबर से एक महीने तक कोई शादी ब्याह और गृहप्रवेश का कार्य नहीं हो पाएगा। मंकर सक्रांति का पर्व 15 जनवरी को मनाया जाएगा। ज्योतिषाचार्य पंडित शिवकुमार शर्मा ने बताया कि शास्त्रों के नियम अनुसार जब भी धनु और मीन की संक्रांति में सूर्य आते हैं तो इस समयावधि में वैवाहिक मुहूर्त, गृह प्रवेश, गृह निर्माण भूमि पूजन आदि शुभ कार्य करना प्रतिबंधित हो जाता है। लेकिन विवाह संबंधी अन्य कार्य जैसे सगाई, वैवाहिक तैयारी रिश्ता तर करना, घर के खरीदने के लिए धरोहर राशि देना आदि के लिए मुहूर्त होते हैं। लेकिन विवाह, नए घर में प्रवेश, नींव रखने अथवा भूमि पूजन के कार्यों में एक महीना प्रतिबंध रहता है। खरमास 16 दिसंबर को शाम 4:00 बजे से आरंभ होगा तथा 15 जनवरी 2024 की रात्रि 2:44 बजे समाप्त होगा। उसके बाद मकर की संक्रांति में पुनः शुभ कार्य आरंभ होंगे। मकर संक्रांति भी 14 जनवरी के स्थान पर 15 जनवरी को ही मनाई जाएगी। मकर संक्रांति 14 जनवरी को मध्य रात्रि 12:00 बजे के बाद 2:44 पर आएगी। रात्रि 12:00 बजे के बाद दिनांक बदल जाता है, इसलिए मकर संक्रांति का शुभ मुहूर्त 15 जनवरी को ही होगा तथा संक्रांति का पर्व 15 जनवरी को ही मनाया जाएगा।
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