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चैत्र नवरात्रि पर इस सरल विधि से करें कलश स्थापना, नोट कर लें शुभ मुहूर्त और संपूर्ण पूजा सामग्री लिस्ट

Chaitra Navratri 2024 Samagri List : इस साल 9 अप्रैल से चैत्र नवरात्रि की शुरुआत हो रही है। नवरात्रि के 9 दिनों में घटस्थापना से लेकर हवन तक पूजा सामग्री में कुछ चीजें शामिल करना बेहद शुभ होता है।

Arti Tripathi लाइव हिन्दुस्तान, नई दिल्लीTue, 9 April 2024 08:37 AM
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Chaitra Navrati 2024 Kalash Sthapana Shubh Muhurat : इस साल 9 अप्रैल से बेहद शुभ संयोग में चैत्र नवरात्रि की शुरुआत हो रही है और इसका समापन 17 अप्रैल को होगा। हर साल चैत्र माह शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से चैत्र नवरात्रि का आरंभ होता है। नवरात्रि के नौ दिनों में मां दुर्गा के मां शैलपुत्री, मां ब्रह्माचारिणी,  मां चंद्रघंटा, मां कुष्मांडा, स्कंदमाता, मां कात्यायनी, कालरात्रि, मां महागौरी और देवी सिद्धिदात्री समेत 9 स्वरूपों की पूजा-आराधना का बड़ा महत्व है। नवरात्रि के पहले दिन कलश स्थापना की जाती है और इसके बाद मां शैलपुत्री की पूजा-आराधना की जाती है। नवरात्रि में मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने के लिए शुभ मुहूर्त में कलश स्थापना, विधि-विधान से पूजन के साथ पूजा में कुछ विशेष चीजों को जरूर शामिल करना चाहिए। आइए जानते हैं-

चैत्र नवरात्रि का शुभ मुहूर्त : चैत्र माह के प्रतिपदा तिथि का आरंभ 8 अप्रैल को रात 11 बजकर 50 मिनट पर होगा और 9 अप्रैल को रात 8 बजकर 30 मिनट पर समाप्त होगा। इसलिए उदयाथिति के अनुसार, नवरात्रि के पहले दिन यानी 9 अप्रैल को कलश स्थापना की जाएगी।

कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त : इस दिन सुबह 5 बजकर 52 मिनट से लेकर 10 बजकर 4 मिनट तक पहला कलश स्थापना मुहूर्त बन रहा है। इसके बाद 11 बजकर 45 मिनट से दोपहर 12 बजकर 35 मिनट तक घट स्थापना कर सकेंगे।

नवरात्रि की पूजन सामग्री : इसके अलावा मां दुर्गा की पूजा के लिए तस्वीर, लाल रंग का कपड़ा, फल, फूल,माला, आम का पत्ता, लौंग, सुपारी, इलायची, बंदनवार, हल्दी की गांठ, रोली, मौली, कमल गट्टा, सूखा नारियल, नैवेध, शहद, घी, शक्कर, पंचमेवा, जावित्री, गंगाजल, दूध, दही, नवग्रह पूजन के लिए रंग-बिरंगे चावल, धूप-दीप, वस्त्र और पूजा की थाली समेत सभी सामग्री एकत्रित कर लें।

मां दुर्गा की श्रृंगार सामग्री : मां दुर्गा को श्रृंगार सामग्री अर्पित करने के लिए लाल चुनरी, लाल चूड़ियां, सिंदूर, बिंदी, काजल, मेहंदी, शीशा, बिछिया, इत्र, मंगलसूत्र, लिपस्टिक, नथ, गजरा, कंघी, कान की बली समेत 16 श्रृंगार की सामग्री रख लें।

कलश स्थापना की सामग्री : कलश स्थापित करने के लिए मिट्टी का घड़ा, मिट्टी, मिट्टी का ढक्कन, नारियल, जल, गंगाजल, मिट्टी का दीपक, हल्दी-अक्षत और लाल रंग का वस्त्र चाहिए।

कलश स्थापना की विधि:

नवरात्रि के पहले दिन सुबह जल्दी उठें। स्नानादि के बाद साफ वस्त्र धारण करें।
इसके बाद  घर के मंदिर को साफ करें। मंदिर को फूलों से सजाएं।
घट स्थापना के लिए एक मिट्टी के कलश में पानी भरकर रख दें।
कलश में सिक्का, सुपारी, आम का पत्ते जरूर डालें।
इसके बाद एक लाल कपड़ा बिछाकर उसपर चावल का ढेर बनाएं।
अब चावल के ढेर पर कलश स्थापित करें। कलश पर कलावा बांध दें।
इसके साथ ही कलश पर स्वास्तिक भी बनाएं।
फिर एक मिट्टी के बर्तन में मिट्टी और जौ मिलाएं। इसमें थोड़ा पानी छिड़कें और इसे भी स्थापित कर दें।
अब मंदिर में मां दुर्गा की प्रतिमा रखें। सभी देवी-देवताओं कआ आह्वान करें।
सबसे पहले गणेश जी की पूजा करें और सभी मां दुर्गा समेत सभी देवी-देवताओं की आरती करें।

डिस्क्लेमर: इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य है और सटीक है। इन्हें अपनाने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।
 

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